ईश्वर दुबे
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Bhilai
रायपुर :
रायगढ़ जिले के तमनार में आज पशुधन विकास विभाग द्वारा आयोजित जिला स्तरीय पशु मेला, उत्सव एवं प्रतियोगिता का आयोजन किया गया। कार्यक्रम में मुख्य अतिथि के रूप में शामिल हुए। इस अवसर पर उन्होंने एक करोड़ से अधिक की लागत से विभिन्न विकास कार्यों का शिलान्यास किया। साथ ही उन्होंने पशुपालकों को सम्मानित किया तथा तेन्दूपत्ता संग्राहकों को चरण पादुका प्रदान की।
अपने संबोधन में वित्त मंत्री श्री चौधरी ने कहा कि राज्य सरकार इन पशुपालकों के साथ खड़ी है और उन्हें हर आवश्यक सुविधा उपलब्ध कराई जाएगी। उन्होंने बताया कि सरकार बनने के बाद से ही किसानों और श्रमिकों की आर्थिक स्थिति में सुधार की दिशा में सतत कार्य किया जा रहा है। तेंदूपत्ता संग्राहकों के लिए समर्थन मूल्य 4000 रूपए से बढ़ाकर 5500 रूपए किया गया है और चरण पादुका योजना की पुनः शुरुआत की गई है।
मंत्री श्री चौधरी ने बताया कि छत्तीसगढ़ सरकार ने सत्ता में आते ही प्रधानमंत्री आवास योजना के अंतर्गत 18 लाख रुके हुए आवासों को स्वीकृति दी है और आज प्रदेश के गांव-गांव में आवास निर्माण का कार्य हो रहा है। उन्होंने जानकारी दी कि तमनार ब्लॉक में लगभग 8,400 आवास स्वीकृत किए जा चुके हैं, जिससे यहां के हजारों परिवारों को पक्की छत का सपना साकार हो रहा है।
वित्त मंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में अयोध्या में भगवान श्रीराम का भव्य मंदिर बनकर तैयार हुआ है और मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय के नेतृत्व में श्रीरामलला दर्शन योजना के तहत प्रदेश के श्रद्धालुओं को दर्शन का अवसर दिया जा रहा है। उन्होंने कहा कि महिलाओं को आर्थिक रूप से सशक्त बनाने के उद्देश्य से श्महतारी वंदन योजनाश् प्रारंभ की गई है, जिससे महिलाएं अपनी छोटी-छोटी जरूरतों के लिए आत्मनिर्भर बन रही हैं। उन्होंने बताया कि सारंगढ़ की महिलाओं ने इस योजना की राशि से भगवान श्रीराम का मंदिर बनवाया है, जो इस योजना की सफलता का उदाहरण है। उन्होंने महिलाओं को सुकन्या समृद्धि योजना की जानकारी भी दी और महतारी वंदन योजना की राशि को इस योजना में जमा करने के लिए प्रेरित किया।
वित्त मंत्री श्री ओ.पी. चौधरी ने तमनार में एक करोड़ 37 हजार रुपये की लागत से स्वीकृत विकास कार्यों का शिलान्यास किया। इसमें स्वामी आत्मानंद अंग्रेजी माध्यम विद्यालय तमनार में अतिरिक्त कक्षों का निर्माण, ग्राम पंचायतों में सामुदायिक भवन, छात्रावासों में किचन शेड, अहाता और अधीक्षक आवास निर्माण जैसे कार्य शामिल हैं।
वित्त मंत्री ने विभागीय पशु प्रदर्शनी का भी अवलोकन किया और पशुपालकों से संवाद कर उनकी समस्याएं सुनीं। उन्होंने पशुधन, नस्ल, आहार और स्वास्थ्य के संबंध में जानकारी भी प्राप्त की और पशुपालकों का उत्साहवर्धन किया। कार्यक्रम में उन्होंने विभिन्न योजनाओं के पात्र हितग्राहियों को सामग्री वितरित किए। तेंदूपत्ता संग्राहकों को चेक और प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत लाभान्वित हितग्राहियों को गृह प्रवेश की चाबी सौंपी गई। महिलाओं को चरण पादुका प्रदान कर उन्हें सम्मानित किया गया।
इस अवसर पर वित्त मंत्री ने “एक पेड़ मां के नाम” अभियान के तहत स्वामी आत्मानंद स्कूल परिसर, तमनार में जामुन का पौधा रोपित किया। कार्यक्रम में लोकसभा सांसद श्री राधेश्याम राठिया, श्रीमती सुनीति राठिया, श्री सत्यानंद राठिया, जिला पंचायत उपाध्यक्ष श्री दीपक सिदारद सहित अनेक जनप्रतिनिधि, अधिकारी-कर्मचारी और ग्रामीणजन बड़ी संख्या में उपस्थित थे।
रायपुर :मुख्यमंत्री श्री विष्णुदेव साय आज हरियाणा के रोहतक पहुंचे, जहाँ उन्होंने हरियाणा सरकार के पूर्व वित्त मंत्री कैप्टन अभिमन्यु के निवास सिंधु भवन पहुंचकर शोक संवेदनाएँ व्यक्त कीं।
मुख्यमंत्री श्री साय ने कैप्टन अभिमन्यु की पूज्य माताजी श्रीमती परमेश्वरी देवी जी के निधन पर गहरा शोक व्यक्त करते हुए उनके चित्र पर पुष्प अर्पित कर श्रद्धांजलि दी। इस अवसर पर उन्होंने शोकाकुल परिजनों से भेंट कर उन्हें सांत्वना दी तथा ईश्वर से दिवंगत आत्मा की शांति के लिए प्रार्थना की।
रायपुर : मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय आज राजधानी रायपुर के पंडित दीनदयाल उपाध्याय ऑडिटोरियम में आपातकाल की 50वीं वर्षगांठ के अवसर पर आयोजित संविधान हत्या दिवस कार्यक्रम में शामिल हुए।
कार्यक्रम को संबोधित करते हुए मुख्यमंत्री श्री साय ने कहा कि यह अत्यंत आवश्यक है कि लोकतंत्र की हत्या के उस काले दिन को हमारी भावी पीढ़ी भी जाने, समझे और उससे सीख ले। आपातकाल के दौर को याद करते हुए भावुक हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि वह कालखंड मेरे जीवन से गहराई से जुड़ा है। यह मेरे लिए मात्र एक घटना नहीं, बल्कि एक व्यक्तिगत पीड़ा है।
मुख्यमंत्री ने बताया कि उनके बड़े पिताजी स्वर्गीय श्री नरहरि प्रसाद साय आपातकाल के दौरान 19 माह तक जेल में रहे। उस समय लोकतंत्र सेनानियों के घरों की स्थिति अत्यंत दयनीय थी—कई बार घर में चूल्हा तक नहीं जलता था। ऐसे अनेक परिवारों को मैंने स्वयं देखा है। उन्होंने कहा कि निरंकुश सत्ता ने उस समय अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता को कुचल दिया था, नागरिक अधिकार छीन लिए गए थे। वास्तव में, वह लोकतंत्र का काला दिन था, जिसका दंश हमारे परिवार ने झेला है और जिसे मैंने स्वयं जिया है।
मुख्यमंत्री श्री साय ने कार्यक्रम के दौरान लोकतंत्र सेनानी परिवारों के सदस्यों से भेंट कर उन्हें सम्मानित किया तथा शॉल, श्रीफल एवं प्रतीक चिन्ह भेंट किए।
मुख्यमंत्री ने कहा कि छत्तीसगढ़ सरकार लोकतंत्र सेनानी परिवारों को सम्मान देने का कार्य कर रही है। इन परिवारों को प्रतिमाह 10 हजार से 25 हजार रुपए तक की सम्मान राशि दी जा रही है—यह उनके संघर्ष और बलिदान को नमन करने का एक विनम्र प्रयास है।
कार्यक्रम में उपस्थित छात्र-छात्राओं और युवाओं को संबोधित करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि संविधान की रक्षा हम सभी की सामूहिक जिम्मेदारी है। उन्होंने युवाओं से आग्रह किया कि वे आपातकाल के इतिहास को जानें, पढ़ें और समझें कि किस प्रकार उस कालखंड में संविधान को कुचला गया था। लोकतंत्र को जीवित रखने और सशक्त करने के लिए जन-जागरूकता और सक्रिय भागीदारी अनिवार्य है।
भोपाल : मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने वाराणसी में बाबा काशी विश्वनाथ मंदिर तथा काल भैरव मंदिर में दर्शन कर पूजा अर्चना की। उल्लेखनीय है कि मुख्यमंत्री डॉ. यादव केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह की अध्यक्षता में 25वीं मध्य क्षेत्रीय परिषद की बैठक में सहभागिता के लिए वाराणसी प्रवास पर हैं। बैठक में उत्तर प्रदेश, उत्तराखंड और छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भी भाग ले रहे हैं।
भोपाल : पंचायत एवं ग्रामीण विकास के तत्वावधान में महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी योजना (मनरेगा) की उच्चस्तरीय बैठक में ग्राम रोजगार सहायक मार्गदर्शिका-2025 को औपचारिक रूप से लागू करने की घोषणा की गई। इस ऐतिहासिक निर्णय में पंचायत, ग्रामीण विकास एवं श्रम विभाग के मंत्री प्रहलाद सिंह पटेल की सशक्त नेतृत्व भूमिका रही। पटेल ने बैठक की अध्यक्षता करते हुए इस नई मार्गदर्शिका को “स्थानीय रोजगार व्यवस्था में स्थायित्व, जवाबदेही और दक्षता का आधुनिक रूपांतरण” बताया।
पटेल ने कहा कि यह दस्तावेज ग्राम रोजगार सहायकों के चयन, मूल्यांकन और अनुशासन को लेकर आने वाले वर्षों की ग्रामीण विकास संरचना की रीढ़ सिद्ध होगा। उन्होंने स्पष्ट किया कि मार्गदर्शिका 2025 का तत्काल प्रभाव से क्रियान्वयन किया जाएगा, जिसके तहत सभी नियुक्तियां, मूल्यांकन, नवीनीकरण एवं अनुशासन की प्रक्रिया संचालित की जाएगी। चयन प्रक्रिया में पारदर्शिता सुनिश्चित करते हुए अब सभी नियुक्तियां लिखित परीक्षा के माध्यम से की जाएंगी, जिससे योग्य और स्थानीय युवा ग्रामीण विकास से सीधे जुड़ सकेंगे।
भोपाल : उच्च शिक्षा, तकनीकी शिक्षा एवं आयुष मंत्री इन्दर सिंह परमार ने कहा है कि मानवीय मूल्यों से परिपूर्ण श्रेष्ठ नागरिक निर्माण करना, राष्ट्रीय शिक्षा नीति-2020 का ध्येय है। श्रेष्ठ नागरिक निर्माण के लिए विद्यार्थियों में मानवीय संवेदनाओं के साथ भारतीय दृष्टि की आवश्यकता है। विद्यार्थियों में मात्र विषयविद् नहीं बल्कि मानवीय मूल्यों से परिपूर्ण व्यक्तित्व का विकास करना होगा। विद्यार्थियों के लिए ऐसी पद्धति तैयार करनी होगी, जिससे समाज के प्रश्नों का समाधान भी निकले एवं समाज में मानवीय मूल्यों का परंपरागत संरक्षण एवं संवर्धन भी हो। मंत्री परमार मंगलवार को भोपाल स्थित संत शिरोमणि रविदास ग्लोबल स्किल्स पार्क के सभागृह में तकनीकी शिक्षा विभाग द्वारा आयोजित एक दिवसीय परिचर्चा (QUEST) को संबोधित किया।
मंत्री परमार ने कहा कि उद्योग जगत एवं बाजार की आवश्यकता अनुरूप विद्यार्थियों को स्किल्ड (दक्ष) बनाने के लिए पाठ्यक्रम निर्माण की आवश्यकता है। हम राष्ट्रीय शिक्षा नीति-2020 के परिप्रेक्ष्य में गुणवत्तापूर्ण शिक्षण पद्धति की ओर बढ़ रहे हैं। इस दिशा में प्रतिबद्धता की भावना से आगे बढ़ने से लक्ष्य साकार हो सकेगा। उच्च शिक्षा मंत्री परमार ने कहा कि भारत अतीत में विश्वगुरु रहा है और वर्तमान परिदृश्य को पुनः गौरवशाली बनाने के लिए भारतीय दृष्टिकोण धारक व्यक्तित्व निर्माण की आवश्यकता हैं। परमार ने कहा कि हर क्षेत्र - हर विधा में, भारत की गौरवशाली उपलब्धियां रही है। भारत के गौरवशाली ज्ञान पर गर्व का भाव जागृत कर हीन भावना से मुक्त होना होगा। तकनीकी एवं इंजीनियरिंग क्षेत्र में भी हजारों वर्षों से भारतीय ज्ञान परम्परा विद्यमान है। आज हर क्षेत्र में भारतीय ज्ञान के प्रमाण मिल रहे हैं। परमार ने कहा कि स्वतंत्रता के शताब्दी वर्ष 2047 में विकसित भारत की संकल्पना को साकार करने में शिक्षा की महत्वपूर्ण भूमिका होगी। इस संकल्प की सिद्धि के लिए विद्यार्थियों को प्रश्नकर्ता नहीं समाधानकर्ता बनाने की आवश्यकता है। परमार ने कहा कि गुणवत्तापूर्ण तकनीकी शिक्षा देने के लिए राज्य सरकार प्रतिबद्धता से कार्यशील है।
सचिव तकनीकी शिक्षा रघुराज राजेन्द्रन ने कहा कि निवेश गुणवत्ता के लिए महत्वपूर्ण पहलू है। उद्योग जगत के शैक्षणिक जगत में निवेश से नैसर्गिक रूप से गुणवत्ता सुनिश्चित होगी। ज्ञातव्य है कि यह परिचर्चा प्रदेश के समस्त तकनीकी शिक्षण संस्थानों में गुणवत्ता, दक्षता, उपयोगिता, स्थायित्व एवं समयबद्धता सुनिश्चित करने की दिशा में विस्तृत विचार मंथन के लिए प्रारंभ की गई एक राज्य स्तरीय पहल है।
इस अवसर पर कुलगुरु राजीव गांधी प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय डॉ राजीव त्रिपाठी, निजी विश्वविद्यालय विनियामक आयोग के चेयरमैन भरत शरण सिंह, आयुक्त तकनीकी शिक्षा अवधेश शर्मा एवं सीईओ ग्लोबल स्किल्स पार्क गिरीश शर्मा सहित विभिन्न विश्वविद्यालयों के कुलगुरु, उनके प्रतिनिधि, विभिन्न तकनीकी शिक्षण संस्थानों के प्रतिनिधि सहित विभागीय अधिकारी उपस्थित थे।
रायपुर :राज्यपाल श्री रमेन डेका ने आज यहां राजभवन में बेमेतरा जिले के मेधावी छात्र श्री आदित्य तिवारी का सम्मान किया। राज्यपाल श्री डेका ने छात्र को 10 हजार रूपए की प्रोत्साहन राशि प्रदान की, साथ ही राजकीय गमछा एवं स्मृति चिन्ह भेंट किया। श्री डेका ने छात्र के उज्ज्वल भविष्य के लिए शुभकामनाएं दी।
उल्लेखनीय है कि बेमेतरा जिले के ग्राम जमघट निवासी छात्र आदित्य ने इस वर्ष सीबीएसई 12 वीं बोर्ड की परीक्षा में 97.4 प्रतिशत अंकों के साथ उत्तीर्ण की है साथ ही जेईई मेन्स में 99 प्रतिशत और जेईई एडवान्स परीक्षा में अच्छी रेंक प्राप्त की है। इस अवसर पर छात्र के परिजन भी उपस्थित थे।
रायपुर :मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय के नेतृत्व में राज्य में सभी वर्गो के विकास के लिए विभिन्न कल्याणकारी योजनाएं संचालित की जा रही है। मुख्यमंत्री श्री साय की मंशा है कि केन्द्र सरकार से मिलने वाली सभी योजनाओं का लाभ राज्य के व्यक्तियों को भी समय पर मिले शासन द्वारा निर्धारित समय पर हितग्राहियों को लाभ पहुंचाया जा रहा है।
प्रधानमंत्री आवास योजना (ग्रामीण) 2.0 के तहत दंतेवाड़ा जिले के चितालंका ग्राम पंचायत के कई जरूरतमंद परिवारों को उनके पक्के मकान का सपना साकार हो रहा हैं। आवास किसी भी व्यक्ति की मूलभूत आवश्यकताओं मे से एक है। वर्षों से झोपड़ियों या अधूरे कच्चे मकानों में जीवन बिता रहे इन परिवारों के चेहरों पर अब इस सौगात की खुशी की झलक साफ देखी जा सकती है। इस परिप्रेक्ष्य में इन हितग्राहियों में से एक चितालंका की निवासी श्रीमती सुकारी ईच्छाम के अधूरे घर की दीवारें अब मजबूती से खड़ी हैं, क्योंकि उनका मकान ’’प्लिन्थ’’ स्तर पर कार्य पूरा हो चुका है और छत की तैयारी शुरू हो गई है। वहीं श्रीमती श्यामदई नाग के घर का निर्माण कार्य छज्जा स्तर तक पहुँच चुका है, जिससे यह स्पष्ट है कि कुछ ही समय में उनका मकान भी पूरी तरह बनकर तैयार हो जाएगा।
एक अन्य हितग्राही श्री कलजुक नेताम के लिए सबसे बड़ी खुशी की बात यह है कि उनका घर पूरी तरह बनकर तैयार हो गया है। अब उनके परिवार के पास एक मजबूत, सुरक्षित और सम्मानजनक आवास है, जिसकी उन्होंने वर्षों से कामना की थी। यह सिर्फ ईंट और सीमेंट का निर्माण नहीं है, बल्कि उन सपनों की नींव है जो लंबे समय से अधूरा था। अब ये परिवार न केवल बारिश, धूप और ठंड से सुरक्षित हैं, बल्कि उनमें आत्मविश्वास और गरिमा की भी अनुभूति आई है। उनके परिवार के लिए बारिश के मौसम में कच्चे घर में रहना हमेशा एक चुनौती भरा रहता था। छत से पानी टपकता, दीवारें भीगती और जहरीले जीवों का खतरा हर वक्त बना रहता था। इन समस्याओं ने उन्हें अक्सर चिंता और असुरक्षा ने घेर रखा था। लेकिन प्रधानमंत्री आवास योजना 2.0 उनके जीवन में एक नई रोशनी की किरण लेकर आई। प्रधानमंत्री आवास योजना के अंतर्गत मिली यह सौगात ग्रामीणों के लिए किसी वरदान से कम नहीं है। यह योजना आर्थिक रूप से कमजोर तबके को एक पक्के घर के साथ-साथ उनके सपनों को भी नए पंख दे रही है।
हितग्राहियों ने समय पर उनके आशियानों के सपने पूरा करने के लिए शासन के प्रति आभार जताया है।
रायपुर : देवों के अधिदेव भगवान शंकर की पावन नगरी काशी में स्थित ‘काशी के कोतवाल’ श्री काल भैरव जी महाराज के दिव्य मंदिर में आज मुख्यमंत्री श्री विष्णुदेव साय ने पूजा अर्चना कर प्रदेशवासियों की सुख-समृद्धि और देश के कल्याण हेतु प्रार्थना की।
इस पावन अवसर पर मुख्यमंत्री श्री साय ने बाबा काल भैरव की विधिवत आराधना की और संपूर्ण राष्ट्र के लिए मंगलकामना की। उन्होंने कहा कि बाबा भैरवनाथ की कृपा समस्त देशवासियों पर निरंतर बनी रहे, यही मेरी प्रार्थना है। उन्होंने देश के नागरिकों के जीवन में सुरक्षा, समृद्धि और कल्याण के प्रकाश के निरंतर प्रवाह की कामना भी की।
मुख्यमंत्री श्री विष्णुदेव साय ने विशेष रूप से छत्तीसगढ़ राज्य की शांति, विकास और जनकल्याण की दिशा में अग्रसर यात्रा के लिए बाबा काल भैरव जी से आशीर्वाद प्राप्त किया। उन्होंने विश्वास व्यक्त किया कि ईश्वर की कृपा से प्रदेश और देश में सुशासन और समृद्धि का मार्ग और अधिक सुदृढ़ होगा।
रायपुर :उत्तरप्रदेश के वाराणसी में आयोजित मध्य क्षेत्रीय परिषद की 25वीं बैठक में मुख्यमंत्री श्री विष्णुदेव साय ने कहा कि यह परिषद केन्द्र और राज्यों के बीच सहयोग और समन्वय का सशक्त मंच बन चुकी है, जिसके माध्यम से छत्तीसगढ़ सहित मध्य भारत के विभिन्न क्षेत्रों के विकास को नई दिशा मिली है।
मुख्यमंत्री श्री साय ने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी के विकसित भारत के लक्ष्य को साकार करने की दिशा में मध्य क्षेत्रीय परिषद ने ठोस योगदान दिया है। छत्तीसगढ़ राज्य की अर्थव्यवस्था, आंतरिक सुरक्षा, सांस्कृतिक पर्यटन और बुनियादी ढांचे के विकास में परिषद की भूमिका निर्णायक रही है।
नक्सलवाद के विरुद्ध निर्णायक बढ़त, बस्तर में विकास का नया युग
मुख्यमंत्री श्री साय ने नक्सल समस्या पर बोलते हुए कहा कि केंद्रीय गृह मंत्री श्री अमित शाह की दृढ़ इच्छाशक्ति और राज्यों के बीच बेहतर समन्वय से छत्तीसगढ़ में नक्सलवाद के विरुद्ध बड़ी सफलता मिली है। बसवराजू और सुधाकर जैसे शीर्ष नक्सली नेताओं के न्यूट्रलाइज होने को उन्होंने नक्सलवाद की रीढ़ टूटने जैसा करार दिया। उन्होंने बताया कि बस्तर के विकास के लिए बोधघाट-महानदी इंद्रावती लिंक जैसी कई हजार करोड़ की परियोजनाओं पर भी हम काम कर रहे हैं। रावघाट-जगदलपुर रेललाइन परियोजना को मिली मंजूरी भी इस दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है।
विकास और सुशासन की दिशा में ठोस कार्य
मुख्यमंत्री ने परिषद को अवगत कराया कि पिछली बैठक में दिए गए सुझावों पर तेजी से अमल हुआ है। नक्सल प्रभावित क्षेत्रों में 28 नई बैंक शाखाएं, डॉयल-112 सेवा का विस्तार, 82 हजार से अधिक बच्चों को कुपोषण से बाहर निकालना जैसी उपलब्धियाँ राज्य के विकास के प्रति हमारी प्रतिबद्धता का प्रमाण है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि बस्तर पंडुम और बस्तर ओलंपिक जैसे आयोजनों ने स्थानीय खेल और सांस्कृतिक प्रतिभाओं को मंच दिया है। आयुष्मान भारत योजना के तहत 87.2 प्रतिशत नागरिकों को कार्ड वितरित किए जा चुके हैं, और 1075 में से 1033 शासकीय अस्पताल इससे जोड़े जा चुके हैं।
ऊर्जा, निवेश और औद्योगिक विकास में राष्ट्रीय नेतृत्व की ओर छत्तीसगढ़
मुख्यमंत्री श्री साय ने कहा कि नई औद्योगिक नीति लागू होने के बाद राज्य को अब तक 5.5 लाख करोड़ रुपए के निवेश प्रस्ताव प्राप्त हुए हैं, जिनमें 3.5 लाख करोड़ पावर सेक्टर से हैं। छत्तीसगढ़ देश में विद्युत उत्पादन में दूसरे स्थान पर है और 2030 तक प्रथम स्थान का लक्ष्य निर्धारित किया गया है। ग्रामीण क्षेत्रों में 23 घंटे 27 मिनट और शहरी क्षेत्रों में 23 घंटे 51 मिनट की औसत विद्युत आपूर्ति राज्य के ऊर्जा प्रबंधन की दक्षता को दर्शाता है। प्रधानमंत्री सूर्य घर योजना के तहत 6 लाख घरों को सौर ऊर्जा से जोड़ने का कार्य प्रगति पर है।
सुगम सेवाएँ, सशक्त पंचायतें और नई श्वेत क्रांति
मुख्यमंत्री ने कहा कि छत्तीसगढ़ में डेढ़ लाख से अधिक सोलर कृषि पंप किसानों को सिंचाई सुविधा प्रदान कर रहे हैं। एनडीडीबी के साथ हुए एमओयू से राज्य में दुग्ध उत्पादन में नया विस्तार होगा। अटल डिजिटल सुविधा केंद्र पंचायतों में डिजिटल सुशासन के सेतु बन रहे हैं और लोक सेवा गारंटी अधिनियम 2011 के प्रभावी क्रियान्वयन से सेवाओं की पारदर्शी और समयबद्ध डिलीवरी सुनिश्चित हुई है।
विकास और सुशासन में छत्तीसगढ़ बना मॉडल राज्य
मुख्यमंत्री श्री साय ने कहा कि छत्तीसगढ़ सरकार प्रधानमंत्री श्री मोदी जी के नेतृत्व में भारत को विकसित राष्ट्र बनाने के अभियान में पूरी निष्ठा से सहभागी है। मध्य क्षेत्रीय परिषद के माध्यम से संवाद और समन्वय का यह मंच छत्तीसगढ़ को और भी आगे ले जाने में सहायक सिद्ध हो रहा है।