ईश्वर दुबे
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Bhilai
अमरिंदर सिंह की चिंता फिलहाल बढ़ती जा रही है। यही कारण है कि वह भाजपा के साथ लगातार बैठक कर रहे हैं। फिलहाल अमरिंदर सिंह ने अपनी पार्टी की प्रत्याशियों की दूसरी सूची पर रोक लगा दी है।
पंजाब में मुख्यमंत्री पद से हटाए जाने के बाद अपनी पार्टी बना चुके कैप्टन अमरिंदर सिंह विधानसभा चुनाव में अपना दम लगा रहे हैं। हालांकि उनकी पार्टी के लिए कई मुश्किलें भी सामने आ रही हैं। पार्टी के ज्यादातर प्रत्याशी भाजपा के चुनाव चिन्ह पर मैदान में उतरना चाहते हैं। दरअसल, अमरिंदर सिंह ने पंजाब लोक कांग्रेस बनाया था और भाजपा के साथ गठबंधन कर चुनावी मैदान में उतरने जा रहे हैं। पंजाब लोक कांग्रेस का चुनाव चिन्ह हॉकी स्टिक और बॉल है। लेकिन कई उम्मीदवार भाजपा के चुनाव चिन्ह कमल पर मैदान में उतरने की दिलचस्पी दिखा रहे हैं। इसी कड़ी में पार्टी ने फिलहाल 4 प्रत्याशियों को कमल के चुनाव चिन्ह पर मैदान में उतरने की अनुमति तो दे दी है लेकिन एक को हटा दिया है।
अमरिंदर सिंह की चिंता फिलहाल बढ़ती जा रही है। यही कारण है कि वह भाजपा के साथ लगातार बैठक कर रहे हैं। फिलहाल अमरिंदर सिंह ने अपनी पार्टी की प्रत्याशियों की दूसरी सूची पर रोक लगा दी है। माना जा रहा है कि अमरिंदर सिंह अपनी पार्टी का भाजपा में विलय भी करा सकते हैं। इससे पहले भाजपा और पंजाब लोक कांग्रेस में एक साथ चुनाव लड़ने को लेकर सहमति बनी थी। अमरिंदर सिंह की पार्टी को भाजपा की ओर से 37 सीटें दी गई हैं। अमरिंदर सिंह ने 22 सीटों पर उम्मीदवारों का ऐलान कर दिया है। अमरिंदर सिंह के करीबी माने जाने वाले पूर्व मंत्री राणा गुरमीत सोढ़ी और फतेह जंग सिंह बाजवा ने उनकी पार्टी में शामिल होने की बजाय भाजपा को ज्यादा महत्व दिया
फिलहाल पंजाब विधानसभा चुनाव को लेकर राजनीतिक आरोप-प्रत्यारोप का दौर भी लगातार जारी है। नामांकन की प्रक्रिया भी चल रही है। इन सब के बीच 20 फरवरी को पंजाब में विधानसभा चुनाव के लिए वोट डाले जाएंगे जबकि नतीजे 10 मार्च को आएंगे। बठिंडा शहरी विधानसभा क्षेत्र से राजकुमार नंबरदार, लुधियाना ईस्ट से जगमोहन शर्मा, खरड़ से कमल सैनी और आत्म नगर हल्के से प्रेम मित्तल को कमल का निशान दिया गया है।