ईश्वर दुबे
संपादक - न्यूज़ क्रिएशन
+91 98278-13148
newscreation2017@gmail.com
Shop No f188 first floor akash ganga press complex
Bhilai
लोकसभा और राज्यसभा में विपक्ष के भारी हंगामे और विरोध के बीच नागरिकता संशोधन विधेयक पास हो गया है। राज्यसभा में बिल के पक्ष में 125 और विपक्ष में 105 वोट पड़े। मुख्य विपक्षी पार्टी कांग्रेस के सांसदों ने सदन में इसपर तीखी बहस की। जिसका गृह मंत्री अमित शाह ने जवाब दिया। अब कांग्रेस इसे अदालत में चुनौती देने की तैयारी कर रही है जिसके संकेत पार्टी के वरिष्ठ नेता और पूर्व केंद्रीय मंत्री पी चिदंबरम ने बुधवार को ही दे दिए थे। नागरिकता संशोधन विधेयक पर चर्चा के दौरान पी चिदंबरम ने कहा कि यह विधेयक अदालत में गिर जाएगा। उन्होंने कहा, 'मुझे पूरा यकीन है कि ये बिल अदालत में नहीं टिकेगा। मेरे सवाल हैं कि आपने तीन देशों को ही क्यों चुना, बाकी को क्यों छोड़ा? आपने छह धर्मों को ही क्यों चुना? सिर्फ ईसाई को क्यों शामिल किया भूटान के ईसाई, श्रीलंका के हिंदुओं को क्यों बाहर रखा?'
जिसके जवाब में गृह मंत्री ने कहा कि संसद को मत डराइये कि इसके दायरे में कोई कोर्ट घुस जाएगा। उन्होंने कहा, 'संसद को मत डराइये कि इसके दायरे में कोई कोर्ट घुस जाएगा भला। हमारा काम अपनी विवेक, बुद्धि से कानून बनाना है और जो हमने किया है और मुझे यकीन है कि यह कानून अदालत में भी सही पाया जाएगा।' उन्होंने विरोधियों को बंद कमरे में आत्मा से सवाल पूछने की नसीहत दी।
अदालत जाने की तैयारी में कांग्रेस
कांग्रेस इस विधेयक के विरोध में अदालत जाने की तैयारी कर रही है। वरिष्ठ कांग्रेस नेता और राज्यसभा में विधेयक का भारी विरोध करने वाले कपिल सिब्बल से जब पूछा गया कि क्या वह इसे अदालत में चुनौती देंगे तो उन्होंने कहा कि देखेंगे। वहीं अभिषेक मनु सिंघवी का कहना है कि विधेयक को अदालत में चुनौती देने की संभावना है। पी चिंदबरम ने भी ट्वीट करके विधेयक को अदालत में चुनौती देने के संकेत दिए हैं।