ईश्वर दुबे
संपादक - न्यूज़ क्रिएशन
+91 98278-13148
newscreation2017@gmail.com
Shop No f188 first floor akash ganga press complex
Bhilai
भाजपाइयों का आरोप- निगमकर्मियों ने महिलाओं के साथ कार्रवाई के दौरान अभद्रता की
आकाश ने कार्रवाई के लिए पहुंचे निगम अधिकारी की बल्ले से पिटाई की थी
इंदौर. निगम अधिकारी की पिटाई मामले में जेल बंद भाजपा महासचिव कैलश विजयवर्गीय के विधायक पुत्र आकाश के समर्थन में भाजपा द्वारा राजबाड़ा पर धरना प्रदर्शन किया जा रहा है। प्रदर्शन के दौरान सभी ने एक सुर में कहा कि निगमकर्मियों ने महिलाओं के साथ दुर्व्यहार किया है, हम विधायक के साथ हैं। वहीं प्रदर्शन के दौरान शुक्रवार को राजबाड़ा पर एक युवक अमित पिता राजू सोनकर निवासी पालदा ने मारपीट के आरोपी विधायक के समर्थन में आत्मदाह का प्रयास किया जिसे वहां उपस्थित लोगों ने विफल कर दिया।
राजबाड़ा पर दोपहर 12 बजे से शुरू हुआ प्रदर्शन शाम 4 बजे तक चलेगा। प्रदर्शन में शामिल होने के लिए सुबह से ही कार्यकर्ता राजबाड़ा पर जमा होने लगे थे। प्रदर्शन के दौरान मंच पर भाजपा के विधायक सहित सभी पदाधिकारी मंच पर माैजूद हैं। पुलिस प्रशासन के खिलाफ धरने की शुरुआत देशभक्ति गीतों से की गई। धरने पर बैठे नेताओं का कहना है कि जिस तरह से महिलाओं के साथ निगम अधिकारियों ने दुर्व्यवहार किया है और पुलिस ने एफआईआर तक नहीं लिखी, इससे साफ पता चलता है कि पुलिस कांग्रेस के कहे अनुसार कार्रवाई कर रही है। भाजपा इस प्रकार के अराजकता के लिए आज सड़क पर उतरी है। हमारा आंदोलन लगातार जारी रहेगा। धरने में विधायक रमेश मेंदोला के साथ महेंद्र हार्डिया, पूर्व विधायक जीतू जिराती भी मौजूद हैं। इसके पहले विधायक हार्डिया सुबह आकाश से मिलने जेल पहुंचे। करीब 20 मिनट तक चर्चा के बाद वे जेल से बाहर आए।
पिटाई का शिकार निगमकर्मी आईसीयू में भर्ती
विधायक आकश ने जिस निगमकर्मी धीरेन्द्र बायस की क्रिकेट के बल्ले से पिटाई की थी उन्हें गुरुवार रात अस्पताल में भर्ती कराया गया है। बायस को सीने में दर्द की शिकायत थी। ग्रेटर कैलाश अस्पताल की डॉक्टर सोनाली जैन के अनुसार घबराहट, जकड़न और दर्द की शिकायत थी। जांच में उनका ब्ल्ड प्रेशर हाई था जिसके चलते उन्हें आईसीयू में भर्ती किया गया है।
आकाश के साथ था लिस्टेड गुंडा
पिटाई कांड में विधायक विजयवर्गीय के साथ पुलिस ने 10 अन्य लोगों पर पहले दिन ही मुकदमा दर्ज कर लिया था। वहीं गुरुवार को पुलिस ने मामले में शामिल 6 अन्य आरोपियों पर भी प्रकरण दर्ज किया है। जिन लोगों पर गुरुवार को प्रकरण दर्ज किया गया है उनमें भरत खस, मोनू कल्याणे, निकुल शर्मा, जीतू खस, अभिषेक गौड़ और पंकज पांडे शामिल है। इन आरोपियों में शामिल मोनू कल्याणे निगम का बर्खास्त कर्मचारी था। भरत खस भाजपा अनुसूचित जाति मोर्चा का पदाधिकारी है, जो एमजी रोड थाने का सूचिबद्ध गुंडा है। खस पर 6 से अधिक आपराधिक मामले दर्ज है। वहीं शुक्रवार को राजबाड़ा पर आत्मदाह का प्रयास करने वाले अमित सोनकर पर भी कई अपराध दर्ज है।
यह घटना दुर्भाग्यपूर्ण
धरने में पहुंचे पूर्व विधायक सुदर्शन गुप्ता ने कहा कि जब से कांग्रेस सरकार आई है। तब से पूरे प्रदेश में तबादला उद्योग शुरू हो गया है। कांग्रेस के दलाल ईमानदार अधिकारियों पर दबाव डाल रहे हैं कि रुपए नहीं दिए तो लूप लाइन में डाल दिया जाएगा। वे डरकर रुपए देकर अपना स्थान बचा रहे हैं। आकाश विजयवर्गीय पर दुर्भावनापूर्ण तरीके से कार्रवाई की गई है। जब महिलाएं पुलिस के पास रिपोर्ट लिखाने गईं, लेकिन वहां उनकी सुनवाई नहीं हुई। पुलिस ने कांग्रेसियों के इशारे पर एकतरफा कार्रवाई की गई। उन्होंने बैट मारने के मामले मे कहा कि उन्होंने जो किया, वह मामला कोर्ट में है। मैं इस प्रकार की घटना को दुर्भाग्यपूर्ण है, इस प्रकार की घटना नहीं होनी चाहिए। मैं इतना ही कहना चाहता हूं कि जनप्रतिनिधियों की बात को अधिकारियों को सुनना चाहिए। उनकी बातों को गंभीरता से सुनना चाहिए। उनके मोबाइल को उठाना चाहिए।
आकाश ने बैट को प्यार से धकेला था, मारा नहीं था
विधायक महेंद्र हार्डिया ने कहा कि आकाश युवा हैं जोशीले हैं, उनसे पीड़ित बहनों का दर्द देखा नहीं गया और इस प्रकार की घटना हो गई। हम पुलिस और प्रशासन से मांग करते हैं कि कार्रवाई एक जैसी होनी चाहिए। जनप्रतिनिधियों के समक्ष कई बार ऐसी परिस्थितियां आ जाती हैं, जब वह अपना आपा खो बैठता है। आकाश के साथ भी कुछ वैसा ही हुआ। आकाश से निगम अधिकारी को बैट नहीं मारा, प्यार से धकेला था।
ननि की कार्रवाई के विरोध में वकीलों ने दो घंटे काम बंद रखा
उधर, नगर निगम द्वारा गत दिनों नंदलालपुरा मेनरोड पर एक मकान को तोड़ दिया था। इसके लिए पर्याप्त समय भी नहीं दिया गया था। कार्रवाइ्र में वकील सुरेश एकतारे का ऑफिस भी जमींदोज हो गया था। इस कार्रवाई के विरोध में शुक्रवार को जिला न्यायालय में वकीलों ने 2 घंटे तक काम बंद रखा।