छत्तीसगढ़

छत्तीसगढ़ (17642)

छत्तीसगढ़ विधानसभा चुनाव 2018 के लिए इस महीने मतदान होंगे। निर्वाचन आयोग ने चुनाव के लिए तैयारियों की बृहस्पतिवार को समीक्षा की और निष्पक्ष तथा शांतिपूर्ण चुनाव के लिए अधिकारियों को जरूरी निर्देश दिए। 

 

मुख्य निर्वाचन आयुक्त ओपी रावत ने रायपुर में आयोजित एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में बताया कि बृहस्पतिवार को चुनाव आयोग के अधिकारियों और राज्य के वरिष्ठ अधिकारियों की एक समीक्षा बैठक हुई। 

रावत ने बताया कि छत्तीसगढ़ प्रवास के दौरान, आयोग द्वारा राजनैतिक दलों के प्रतिनिधियों से मुलाकात की गई। आयोग ने सभी जिलों के जिला निर्वाचन अधिकारियों और एसपी के कार्यों की समीक्षा की। 

राज्य के मुख्य सचिव, डीजीपी, गृह सचिव और अन्य वरिष्ठ अधिकारियों से विस्तृत चर्चा की गई और विभिन्न प्रवर्तन एजेन्सी जैसे आयकर विभाग, राज्य आबकारी, स्वापक नियंत्रण ब्यूरो (नार्कोटिक कंट्रोल ब्यूरो) और बैंको के प्रतिनिधियों के साथ रणनीति पर चर्चा भी की गई।

एक सवाल के जवाब में रावत ने कहा कि हाल ही में राज्य के दंतेवाड़ा और बीजापुर जिले में हुए नक्सली हमले को आयोग ने संज्ञान में लिया है तथा अधिकारियों को शांतिपूर्ण मतदान कराने तथा उम्मीदवारों और मतदाताओं की सुरक्षा सुनिश्चित करने का निर्देश दिया गया है।

भिलाई। भाजपा के प्रत्याशी विद्यारतीन भसीन के निवास पर छत्तीसगढ़ सिक्ख पंचायत के पदाधिकारियों ने भेंट कर शुभकामनाएं दी एवं विजयी होने का आशीर्वाद दिया। गुरनाम सिंह कुका, जशबीर सिंह चहल, गुरमीत सिंह सेखी, बलविंदर सिंह कलेर, बलकार सिंह, वीर सिंह, तजेन्द्रर सिंह हुंदल, गुरूनाम सिंह एवं छत्तीसगढ़ सिक्ख पंचायत के समस्त पदाधिकारी एवं सदस्य उपस्थित थे। 

  • मंत्रालय के कर्मचारियों को छोड़कर लौट रही सिटी बस
  • अटल नगर में सीवीडी चौक पर हुई आमने-सामने टक्कर

रायपुर. बच्चों को लेकर स्कूल से लौट रही केंद्रीय विद्यालय की स्कूल बस बुधवार दोपहर सिटी बस से टकरा गई। दुर्घटना में दो छात्राओं और कंडक्टर की मौत हो गई, जबकि सात बच्चे घायल हो गए। सूचना पर पहुंची राखी थाने की टीम ने घायलों को अंबेडकर अस्पताल पहुंचाया। दुर्घटना के बाद बच्चों में चीख-पुकार मच गई।

 बुधवार दोपहर करीब साढ़े 12 बजे केंद्रीय विद्यालय नंबर 3 की स्कूल बस बच्चों को लेकर लौट रही थी। अटल नगर में सीवीडी चौक के पास सिटी बस से आमने-सामने टकरा गई। टक्कर में दो छात्राओं समेत बस के कंडक्टर की मौत हो गई। घटना की सूचना मिलते ही बच्चों के परिजन भी मौके पर पहुंच गए हैं।

नक्सलवाद से प्रभावित दंतेवाड़ा जिले में नक्सली हमले के बाद मुख्यमंत्री रमन सिंह ने बुधवार को अधिकारियों की बैठक की। मुख्यमंत्री रमन सिंह ने रायपुर स्थित अपने निवास कार्यालय में वरिष्ठ अधिकारियों की बैठक लेकर नक्सल हिंसा से निपटने के लिए संबंधित इलाकों की सुरक्षा और कानून व्यवस्था की स्थिति की समीक्षा की।

 

रमन सिंह ने कहा कि दंतेवाड़ा में नक्सली हमले को लेकर चर्चा हुई। हमने सुरक्षा को लेकर रोडमैप बनाया है कि इसे और बेहतर कैसे बनाया जा सकता है। मीडिया और स्थानीय लोगों को और सुरक्षा दी जा सकती है। हमारे पास चुनाव को लेकर पर्याप्त सुरक्षा व्यवस्था है।  

एक रुपये किलो की चावल योजना चलाकर 'चाउर वाले बाबा' के नाम से विख्यात रमन सिंह 2003 से मुख्यमंत्री पद पर काबिज हैं। रमन सिंह के नाम भाजपा की तरफ से सबसे ज्यादा समय तक मुख्यमंत्री पद (15 साल 10 महीने) पर बने रहने का कीर्तिमान दर्ज है। रमन की नजर अब चौथी बार छत्तीसगढ़ का मुख्यमंत्री बनने पर है। जुलाई 2016 में उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के उस रिकॉर्ड को तोड़ा था, जो उन्होंने गुजरात के मुख्यमंत्री के तौर पर बनाया था। आइए नजर डालते हैं रमन सिंह के राजनीतिक सफर पर...

 

पेशे से आयुर्वेदिक डॉक्टर रहे रमन सिंह ने अपने राजनीतिक सफर की शुरुआत पार्षद का चुनाव लड़कर की थी। 1984 में उन्होंने कवर्धा नगर पालिका से पार्षद का चुनाव लड़ा और जीत दर्ज की। तब कवर्धा मध्यप्रदेश का भाग हुआ करता था। इसके बाद 1990 में रमन सिंह कांग्रेस के जगदीश चंद्रवंशी को हराकर कवर्धा विधानसभा सीट से विधायक बने।

1993 में वो एक बार फिर विधायक बने। 1998 में उनके राजनीतिक करियर को खत्म माना जाने लगा जब वो विधानसभा का चुनाव हार गए, लेकिन 1999 में पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी ने उन पर भरोसा जताते हुए राजनांदगांव से लोकसभा चुनाव में उतारा और कांग्रेस के दिग्गज नेता मोतीलाल वोरा को हराकर रमन सिंह अटल सरकार में वाणिज्य-उद्योग राज्य मंत्री बने।

छत्तीसगढ़ के अलग राज्य बनने के बाद 2002 में रमन सिंह को भाजपा ने प्रदेशाध्यक्ष बनाया। 2003 के विधानसभा चुनाव में भाजपा के पास रमन के अलावा कोई बड़ा चेहरा नहीं था और उनके नेतृत्व में ही भाजपा ने कांग्रेस को पछाड़कर सत्ता पर कब्जा किया।

रमन सिंह को पहली बार छत्तीसगढ़ का मुख्यमंत्री बनाया गया। तब से लेकर वह लगातार प्रदेश के मुख्यमंत्री बने हुए हैं। वह 2008 से लगातार राजनांदगांव से विधायक है। इस बार भी रमन सिंह ने राजनांदगांव से नामांकन दाखिल किया है। हालांकि इस बार कांग्रेस ने उनके खिलाफ करूणा शुक्ला को उम्मीदवार बनाया है।

छत्तीसगढ़ जनता कांग्रेस( सीजेसी) के सुप्रीमो और राज्य के पहले मुख्यमंत्री अजीत जोगी आगामी विधानसभा चुनाव अपनी परंपरागत सीट मरवाही से ही लड़ेंगे। सीजेसी यह विधानसभा चुनाव बसपा के साथ मिलकर लड़ रही है। माना जा रहा है कि एससी-एसटी के प्रभाव वाली सीटों पर यह गठबंधन असर डाल सकता है।

 

मंगलवार को इस गठबंधन ने 26 उम्मीदवारों की घोषणा की थी। वर्तमान में मरवाही सीट से अजीत जोगी के बेटे विधायक हैं। इससे पहले पूर्व मुख्यमंत्री जोगी ने कहा था कि वह चुनाव नहीं लड़ेंगे और सभी 90 सीटों पर गठबंधन के प्रत्याशियों का प्रचार करेंगे। सभी अटकलों पर विराम लगाते हुए सीजेसी कोर कमिटी ने यह फैसला भी लिया है कि अजित जोगी के बेटे अमित जोगी यह विधानसभा चुनाव नहीं लड़ेंगे।

पार्टी सूत्रों ने बताया कि यहां की जनता ने अजीत जोगी से चुनाव लड़ने की प्रार्थना करते हुए कहा था कि मरवाही में उनकी जीत पक्की है और उन्हें चुनाव प्रचार की जरूरत नहीं। वह बेफिक्र होकर बाकी सीटों पर प्रचार करें। मरवाही के अलावा पार्टी ने मनेंद्रगढ़ और रायपुर उत्तर सीट के लिए भी उम्मीदवारों के नामों का ऐलान किया है। मनेंद्रगढ़ से लखन श्रीवास्तव और रायपुर उत्तर से अमर गिडवानी छत्तीसगढ़ जनता कांग्रेस के प्रत्याशी होंगे।

छत्तीसगढ़ में दो चरणों में चुनाव होने हैं। दक्षिणी छत्तीसगढ़ में पहले चरण में विधानसभा की 18 सीटों के लिए 12 नवंबर को जबकि उत्तरी छत्तीसगढ़ की 72 सीटों के लिए 20 नवंबर को चुनाव होने हैं। बसपा-सीजेसी गठबंधन ने इस बार कांग्रेस के लिए मुश्किलें खड़ी कर दी हैं जो पिछले 15 साल से सत्ता वापसी की बाट जोह रही है। 

प्रदेश में धान खरीदी एक नवंबर से शुरू हो रही है। इसकी तैयारियां जोरों पर है। इस बार समर्थन मूल्य के साथ-साथ किसानों को बोनस भी दिया जाएगा। प्रदेश के 14सौ प्राथमिक सहकारी समितियों में एक साथ खरीदी शुरू होगी

छत्तीसगढ़: दूरदर्शन की टीम पर नक्सलियों का हमला, कैमरामैन सहित तीन की मौत

 
नक्सलियों के हमले में मारे गए कैमरामैन अच्युतानंद साहू
नक्सलियों के हमले में मारे गए कैमरामैन अच्युतानंद साहू - फोटो : facebook
छत्तीसगढ़ के दंतेवाड़ा में आज नक्सलियों ने दूरदर्शन की टीम पर हमला कर दिया था। इस हमले में एक पत्रकार और दो सुरक्षा कर्मियों की मौत हो गई है। यहां खबर कवरेज करने के लिए दूरदर्शन की तीन सदस्यीय टीम पहुंची थी। तभी वे नीलवाया के जंगल में नक्सलियों के एंबुश में फंस गए। कुछ दिन पहले माओवादियों ने कहा था पत्रकारों को खतरा नहीं है। शहीद हुए दो सुरक्षा कर्मियों में एक एएसआई और एक जवान थे। घायल हुए दो जवानों का नाम जवान विष्णु नेताम और राकेश कौशल है। इनके अलावा एक मीडिया कर्मी और अन्य भी घायल हुए हैं।
 
 
छत्तीसगढ़ में नक्सली हमले पर डीआईजी पी. सुंदरराज का कहना है, 'आज हमारी गश्ती पार्टी पर अरनपुर में नक्सलियों ने घात लगाकर हमला कर दिया था। इस हमले में हमारे दो कर्मी शहीद हो गए हैं। साथ ही दूरदर्शन के कैमरामैन भी घायल हो गए थे, जिनकी बाद में मौत हो गई। दो और कर्मी घायल हुए हैं।' डीआईजी नक्सल पी. सुंदरराज ने कहा कि नक्सली विकास विरोधी है। जनता के सामने उनका चेहरा बेनकाब हो गया है। हमारे जवान नक्सलियों का मुहतोड़ जवाब दे रहे हैं। हम नक्सलियों से निपटने हर परिस्थितियों के लिए तैयार हैं। जानकारी के मुताबिक जो दो सुरक्षा कर्मी घायल हुए हैं उन्हें इलाज के लिए अस्पताल ले जाया गया है। कैमरामैन का नाम अच्युतानंद साहू है।

खेल मंत्री और आई एंड बी मंत्री राज्यवर्धन सिंह राठौर ने छत्तीसगढ़ हमले पर कहा, 'हम कैमरामैन के परिवार के साथ खड़े हैं, हम उनके परिवार का ख्याल रखेंगे। हम उन सभी मीडिया के लोगों को सलाम करते हैं दो कवरेज के लिए ऐसी खतरनाक स्थितियों में जाते हैं, उनकी बहादुरी को याद रखा जाएगा।'


शहीद
रुद्र प्रताप, एएसआई
मंगलराम, आरक्षक
अचिता नंद साहू, कैमरा मैन

ये हुए घायल
राकेश कौशल, आरक्षक
विष्णुनेताम, सहायक आरक्षक

मुख्यमंत्री डॉ रमन सिंह ने शहादत पर गहरा दुःख व्यक्त किया

सीएम रमन सिंह
सीएम रमन सिंह - फोटो : PTI
छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह ने इन हमले की कड़े शब्दों में निंदा की है। डॉ. सिंह ने इस हमले में पुलिस के दो जवानों और दूरदर्शन नई दिल्ली के एक कैमरामेन की शहादत पर गहरा दुःख व्यक्त किया है। उन्होंने इस हमले की तीव्र निंदा करते हुए कहा है कि यह  नक्सलियों की कायरतापूर्ण और शर्मनाक हरकत है। शहीद जवान और कैमरामेन निर्वाचन जैसे राष्ट्रीय कार्य के लिए अपने कर्तव्यों का पालन कर रहे थे। उन पर हमला करके नक्सलियों ने देश के लोकतंत्र पर हमला किया है, जो निंदनीय है।

उन्होंने आगे कहा, देश, प्रदेश और समाज के सभी लोगों को एक  स्वर से उनकी ऐसी हरकतों की कठोर शब्दों में निंदा करनी चाहिए और हिंसा तथा आतंक के खिलाफ सबको एकजुटता का परिचय देना चाहिए।  इस नक्सल हमले में पुलिस के उप निरीक्षक श्री रूद्रप्रताप सिंह, सहायक आरक्षक श्री मंगलराम और दूरदर्शन नई दिल्ली के कैमरामेन श्री अच्युतानंद साहू शहीद हुए हैं। मुख्यमंत्री ने घायल जवानों के जल्द स्वास्थ्य लाभ की कामना की है और अधिकारियों को उनका बेहतर से बेहतर इलाज करवाने के निर्देश दिए हैं।

छत्तीसगढ़ के दंतेवाड़ा में हुए नक्सली हमले में एक मीडियाकर्मी और दो पुलिसकर्मियों की जान चली गई है। हादसे के बाद दंतेवाड़ा के एसी अभिषेक पल्लव इनके बारे में बताते हुए रोने लगे। उन्होंने कहा कि यह बहुत ही दर्दनाक हादसा है। उन्होंने कहा कि दो-तीन दिन पहले भी यहां मीडिया कर्मी आए थे। यहां गांव के लोगों ने मीडिया कर्मियों से खूब बात की और कहा कि वह कैसे 30 साल बाद पहली बार चुनाव में हिस्सा लेंगे और वोट करेंगे। 

 गांव के लोगों ने मीडियाकर्मियों से आपबीती बताई कि उन्हें नक्सलियों ने कितना परेशान किया है। उन्होंने कैसे यह रोड उनके लिए लाइफ लाइन है। उन्होंने दस दिन नक्सिलिओं से मार खाने के बाद भी रोड बनाने का फैसला किया। गांव वालों ने एक भी बात नक्सलियों की नहीं सुनी। एसपी ने कहा कि गांव वालों ने मुझसे भी कहा कि सर हम मर जाएंगे लेकिन रोड बनाकर रहेंगे। इसके बाद यह सभी बातें मीडिया के माध्यम से बाहर जाने लगीं तो नक्सलियों ने मीडियाकर्मियों को टारगेट किया।  
एसपी ने कहा कि रात जब फायरिंग शुरू हुई तो उन्होंने पुलिस को नहीं बल्कि मीडिया को टारगेट किया। उन्होंने कहा कि इस दौरान पुलिस ने अगर मीडियाकर्मियों को धक्का नहीं दिया होता तो दो और मीडिया कर्मी इस हादसे में मारे जाते।  

बता दे कि कवरेज करने के लिए दूरदर्शन की तीन सदस्यीय टीम छत्तीसगढ़ पहुंची थी। तभी वे नीलवाया के जंगल में नक्सलियों के एंबुश में फंस गए। कुछ दिन पहले माओवादियों ने कहा था पत्रकारों को खतरा नहीं है। शहीद हुए दो सुरक्षा कर्मियों में एक एएसआई और एक जवान हैं। घायल हुए दो जवानों का नाम जवान विष्णु नेताम और राकेश कौशल है। इनके अलावा एक मीडिया कर्मी और अन्य भी घायल हुए हैं।

छत्तीसगढ़ में नक्सली हमले पर डीआईजी पी. सुंदरराज का कहना है, 'आज हमारी गश्ती पार्टी पर अरनपुर में नक्सलियों ने घात लगाकर हमला कर दिया था। इस हमले में हमारे दो कर्मी शहीद हो गए हैं। साथ ही दूरदर्शन के कैमरामैन भी घायल हो गए थे, जिनकी बाद में मौत हो गई। जानकारी के मुताबिक जो दो सुरक्षा कर्मी घायल हुए हैं उन्हें इलाज के लिए अस्पताल ले जाया गया है। कैमरामैन का नाम अच्युतानंद साहू है।

खेल मंत्री और आई एंड बी मंत्री राज्यवर्धन सिंह राठौर ने छत्तीसगढ़ हमले पर कहा, 'हम कैमरामैन के परिवार के साथ खड़े हैं, हम उनके परिवार का ख्याल रखेंगे। हम उन सभी मीडिया के लोगों को सलाम करते हैं दो कवरेज के लिए ऐसी खतरनाक स्थितियों में जाते हैं, उनकी बहादुरी को याद रखा जाएगा।'

छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह ने इन हमले की कड़े शब्दों में निंदा की है। डॉ. सिंह ने इस हमले में पुलिस के दो जवानों और दूरदर्शन नई दिल्ली के एक कैमरामेन की शहादत पर गहरा दुख व्यक्त किया है। उन्होंने इस हमले की निंदा करते हुए कहा है कि यह नक्सलियों की कायरतापूर्ण और शर्मनाक हरकत है। शहीद जवान और कैमरामेन निर्वाचन जैसे राष्ट्रीय कार्य के लिए अपने कर्तव्यों का पालन कर रहे थे। उन पर हमला करके नक्सलियों ने देश के लोकतंत्र पर हमला किया है, जो निंदनीय है।

उन्होंने आगे कहा, देश, प्रदेश और समाज के सभी लोगों को एक  स्वर से उनकी ऐसी हरकतों की कठोर शब्दों में निंदा करनी चाहिए और हिंसा तथा आतंक के खिलाफ सबको एकजुटता का परिचय देना चाहिए।  इस नक्सल हमले में पुलिस के उप निरीक्षक श्री रूद्रप्रताप सिंह, सहायक आरक्षक श्री मंगलराम और दूरदर्शन नई दिल्ली के कैमरामेन श्री अच्युतानंद साहू शहीद हुए हैं। मुख्यमंत्री ने घायल जवानों के जल्द स्वास्थ्य लाभ की कामना की है और अधिकारियों को उनका बेहतर से बेहतर इलाज करवाने के निर्देश दिए हैं।
 

रायपुर,। राज्योत्सव 2018 का आयोजन राजधानी रायपुर में इस वर्ष एक से तीन नवम्बर तक तीन दिवसीय होगा। राज्योत्सव का स्थल ग्राम-तूता अटल नगर स्थित पंडित श्यामा प्रसाद मुखर्जी औद्योगिक एवं व्यापार परिसर को निर्धारित किया गया है।
राज्योज्सव 2018 के सफल आयोजन के लिए आज यहां मंत्रालय (महानदी भवन) में अपर मुख्य सचिव पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग  आर.पी.मण्डल की अध्यक्षता में बैठक ली गई। उन्होंने राज्योत्सव के सफल आयोजन के लिए संबंधित विभागीय अधिकारियों को आवश्यक जिम्मेदारी साैंपी और इसका तत्परता से निर्वहन के लिए आवश्यक निर्देश दिए।
अपर मुख्य सचिव श्री मण्डल ने बताया कि प्रदेश में चुनाव आचार संहिता के प्रभावशील होने के कारण राज्योत्सव के आयोजन में निर्वाचन आयोग के निर्देश का पूर्णतः ध्यान रखा जाएगा। चुनाव आचार संहिता के कारण इस वर्ष जिलों में ’राज्योत्सव-2018’ का आयोजन नहीं किया जाएगा। केवल राजधानी रायपुर में ही एक से तीन नवम्बर तक तीन दिवसीय राज्योत्सव का आयोजन किया जाएगा। बैठक में अपर मुख्य सचिव ने राज्योत्सव स्थल में मंच निर्माण, दर्शक दीर्घा, बिजली तथा पेयजल व्यवस्था और वाहन पार्किंग सुविधा आदि के संबंध में अधिकारियों को आवश्यक निर्देश दिए। इस वर्ष राज्योत्सव के अवसर पर शासकीय विभागों की प्रदर्शनियां आयोजित नहीं की जाएगी। इसमें चुनाव आचार संहिता को ध्यान में रखते हुए केवल व्यापार मेला और सांस्कृतिक कार्यक्रमों को ही शामिल किया गया है।

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