ईश्वर दुबे
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अमेरिका ने भारत पर रूस से एस-400 ट्रायम्फ मिसाइल खरीदने को लेकर कुछ राहत दे ही है। इसके बाद अमेरिकी प्रशासन से अपने रिश्तों को नियंत्रित करने के लिए भारत ने अमेरिका के साथ एक मेगा सुरक्षा सौदा करने के लिए औपचारिक कदम आगे बढ़ा दिए हैं। टाइम्स ऑफ इंडिया की खबर के मुताबिक गुरुवार को एनडीए सरकार ने अमेरिकी सरकार को एक पत्र लिखा है जिसमें 13,400 करोड़ रुपये कीमत के 24 एमएच-60 रोमियो हेलीकॉप्टर का सौदा करने की बात कही गई है। ये हेलीकॉप्टर कई भूमिकाओं में काम कर सकते हैं। साथ ही ये तारपीडो और मिसाइल सिस्टम से भी लैस हैं। ऐसा माना जा रहा है कि ये सौदा भारतीय नौसेना को और मजबूत कर सकता है।
2020-2024 तक यह हेलिकॉप्टर भारत को मिल सकते हैं जो भारतीय नौसेना को मजबूत बनाने का कार्य करेंगे। यह फैसला ऐसे समय पर लिया गया है जब चीन के परमाणु और डीजल-इलेक्ट्रिक सबमरीन प्रशांत महासागर के क्षेत्र में नियमित अंतराल पर नजर आते रहते हैं। एमएच-60 चॉपर की यह डील सरकार से सरकार के बीच होगी। इनका निर्माण सिरलोस्की-लॉकहीड मार्टिन कंपनी अमेरिका के सैन्य बिक्री कार्यक्रम के अंतर्गत करती है। माना जा रहा है कि इस साल के अंत तक इस सौदे पर हस्ताक्षर हो जाएंगे। 2007 से भारत ने अमेरिका से होने वाले सैन्य रक्षा सौदे को 17 बिलियन डॉलर तक बढ़ा दिया है।
ग्लोबल टेंडर प्रक्रिया के बजाए फ्लेक्सिबल मैनुफैक्चरिंग सिस्टम (एफएमएस) को आसान और साफ-सुथरा माना जाता है। टेंडर प्रक्रिया में काफी समय लगता है और कई बार यह सौदा भ्रष्टाचार के आरोप लगने की वजह से पटरी से उतर जाता है। भारत ने अपने ज्यादातर हथियार सिस्टम अमेरिका से खरीदे हैं। जिसमें एफएमएस कार्यक्रम के तहत सी-17 ग्लोबमास्टर-3 स्ट्रैटिजिक एयरलिफ्टर्स, सी-130 जे सुपर हरक्युलिस विमान और एम-777 अल्ट्रालाइट होवित्जर शामिल हैं। हेलिकॉप्टर अधिग्रहण करने का यह कार्य लगभग एक दशक से लंबित था।
हेलिकॉप्टर को खरीदने के लिए भारत सरकार ने अमेरिकी प्रशासन को 13,500 करोड़ रुपये का 'लेटर ऑफ रिक्वेस्ट' भेज दिया है। यदि पिछले एक दशक का आकलन किया जाए तो बीते 3-4 सालों में अमेरिका भारत को रूस से ज्यादा सैन्य उपकरणों की आपूर्ति कर रहा है। भारत इन लड़ाकू हेलिकॉप्टर की डील को जल्द से जल्द करना चाहता है।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की हत्या की साजिश रचने वाले कुछ माओवादियों के खिलाफ पुणे पुलिस ने बृहस्पतिवार को चार्जशीट दाखिल कर दी। आरोपपत्र के मुताबिक माओवादियों ने मोदी की हत्या के अलावा देश के खिलाफ युद्ध छेड़ने के लिए हथियारों की खरीद की भी साजिश रच रहे थे।
माना जाता है कि इन पांच नामों के अलावा अन्य माओवादी नेता दीपक उफ मिलिंद तेलतुंबाडे, किशन दा उफ प्रशांत बोस, प्रकाश उर्फ रितुपर्णा गोस्वामी, दीपू और मंगलू भूमिगत हैं। चार्जशीट में कहा गया है कि रोना विल्सन और भगोड़ा किशन दा ने प्रधानमंत्री की हत्या की साजिश रची थी।
सुप्रीम कोर्ट ने राफेल विमान सौदे की सुनवाई चीफ जस्टिस की अध्यक्षता में शुरू कर दी है। बता दें कि केंद्र सरकार ने वायु सेना के लिए 36 राफेल लडाकू विमान सौदे की कीमत का ब्योरा सील बंद लिफाफे में उच्चतम न्यायालय को सौंपा है। मुख्य न्यायाधीश रंजन गोगोई, न्यायमूर्ति एस के कौल एवं न्यायमूर्ति के एम जोसेफ की पीठ इस मामले में अहम सुनवाई कर रहे हैं।
-प्रशांत भूषण ने सुप्रीम कोर्ट में कहा कि राफेल की कीमत का खुलासा करते समय सरकार ने संसद में कोई गोपनीयता का मुद्दा नहीं उठाया। यह सिर्फ कहने के लिए एक फर्जी तर्क है कि वे मूल्य निर्धारण का खुलासा नहीं कर सकते। नए सौदे में राफले जेट्स को पहले सौदे की तुलना में 40% अधिक कीमत पर खरीदा गया है।
-पूर्व केंद्रीय मंत्री अरुण शौरी की तरफ से वरिष्ठ वकील प्रशांत भूषण सुप्रीम कोर्ट में दलील रख रहे हैं। अरुण शौरी भी राफले सौदा मामले में याचिकाकर्ताओं में से एक हैं। प्रशांत भूषण ने सुप्रीम कोर्ट को बताया कि सौदे में फ्रांस सरकार की तरफ से कोई सॉवरेन गारंटी नहीं दी गई थी।
-आप नेता संजय सिंह के वकील ने सुप्रीम कोर्ट को बताया कि 36 राफले विमान सौदे का मूल्य दो बार संसद में सामने आया था। इसलिए सरकार का ये कहना कि मूल्यों को सार्वजनिक नहीं किया जा सकता ये स्वीकार करने योग्य नहीं है।
-याचिकाकर्ता के वकील एमएल शर्मा ने सुप्रीम कोर्ट से कहा, अदालत में सरकार द्वारा दायर की गई रिपोर्ट से पता चलता है कि मई 2015 के बाद निर्णय लेने के दौरान गंभीर धोखाधड़ी की गई है। याचिकाकर्ता के वकील ने सर्वोच्च न्यायालय से आग्रह किया है कि इस मामले की सुनवाई पांच न्यायाधीशों की बेंच से कराने की मांग की है।
नई दिल्ली. एक महिला संपादक ने पूर्व विदेश राज्य मंत्री एमजे अकबर का समर्थन करते हुए उन्हें जेंटलमैन बताया। द संडे गार्डियन की संपादक जोयिता बसु ने अकबर के साथ लगभग 15 सालों तक काम किया। सोमवार को दिल्ली की एक अदालत में अकबर द्वारा पत्रकार प्रिया रमानी पर लगाए गए मानहानि केस में सुनवाई हुई। इस दौरान बसु ने अदालत में अपना बयान दर्ज कराया। इस मामले में अगली सुनवाई 7 दिसंबर को होगी।
बसु उन 6 लोगों में से एक हैं, जिन्हें प्रिया रमानी मानहानि मामले में अकबर की ओर से गवाह बनाया गया है। उन्होंने एडिशनल चीफ मेट्रोपोलिटन मजिस्ट्रेट समर विशाल को बताया कि रमानी के आरोपों वाले ट्वीट्स से अकबर की प्रतिष्ठा को काफी नुकसान पहुंचा है। इन्हें जानबूझ कर अकबर की छवि को नुकसान पहुंचाने और समाज में अपनी साख बनाने के उद्देश्य से किया गया था।
मेरे साथ अकबर का बर्ताव कभी गलत नहीं रहा: बसु
बसु ने कोर्ट में बताया, "मैंने 15 सालों तक उनके साथ काम किया। इस दौरान मेरे साथ उनका बर्ताव कभी गलत नहीं रहा। वे सही मायने में पेशेवर व्यक्ति थे और पूरे दफ्तर में कठिन से कठिन काम करने वाले लोगों में से थे। अकबर के लिए मेरे मन में हमेशा सम्मान रहा है।''
अकबर पर 17 महिलाओं ने लगाए उत्पीड़न के आरोप
अकबर पर प्रिया समेत 17 महिलाओं ने यौन शोषण के आरोप लगाए हैं। आरोपों की शुरुआत 8 अक्टूबर को प्रिया रमानी के एक ट्वीट के बाद हुई थी। 17 अक्टूबर को अकबर ने विदेश राज्यमंत्री पद से इस्तीफा दे दिया था।
नई दिल्ली. सुप्रीम कोर्ट केरल के सबरीमाला मंदिर में महिलाओं के प्रवेश को लेकर दिए गए अपने फैसले पर आज विचार कर सकता है। इस संबंध में अदालत में 48 रिव्यू पिटीशन दायर की गई हैं। इस मामले में 28 सितंबर को सुप्रीम कोर्ट के तत्कालीन चीफ जस्टिस दीपक मिश्रा की अध्यक्षता वाली पांच जजों की बेंच ने 4-1 से फैसला दिया था। इसमें सभी आयु वर्ग की महिलाओं को मंदिर में प्रवेश की अनुमति दी गई थी।
पांच जजों की बेंच के फैसले पर पुनर्विचार के मांग वाली सभी याचिकाएं चीफ जस्टिस रंजन गोगोई, जस्टिस आरएफ नरीमन, जस्टिस एएम खानविलकर, जस्टिस डीवाई चंद्रचूड़ और जस्टिस इंदु मल्होत्रा की बेंच के सामने रखी जाएंगी। इन याचिकाओं के अलावा, इस फैसले पर पुनर्विचार की मांग वाली तीन अलग-अलग याचिकाएं चीफ जस्टिस गोगोई, जस्टिस संजय किशन कौल और जस्टिस केएम जोसेफ की बेंच के सामने खुली अदालत में सुनवाई के लिए रखी जाएंगी। शीर्ष अदालत ने 9 अक्टूबर को एक संगठन की पुनर्विचार याचिका पर तत्काल सुनवाई से इनकार किया था।
फैसले के पक्ष और विपक्ष में हो रहे प्रदर्शन
सबरीमाला मंदिर मामले में सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद केरल में विरोध-प्रदर्शन हुए। कई संगठन कोर्ट के फैसले के खिलाफ तो कई इसके पक्ष में प्रदर्शन कर रहे हैं।
17 नवंबर से 2 महीने के लिए खुलेंगे द्वार
सबरीमाला स्थित भगवान अयप्पा का मंदिर 17 नवंबर को दो महीना के लिए खुलेगा। केरल सरकार इस सप्ताह शुरू हो रहे तीर्थयात्रा से पहले सबरीमाला मंदिर से जुड़े अलग-अलग मुद्दों पर चर्चा के लिए एक सर्वदलीय बैठक कर सकती है।
फरीदाबाद. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 19 नवंबर काे दोपहर 1.11 बजे गुड़गांव के सुल्तानपुर से रिमोट के जरिए बल्लभगढ़ मेट्राे सेवा का शुभारंभ करेंगे। इस कार्यक्रम का यहां लाइव प्रसारण किया जाएगा। तैयारियों को लेकर सोमवार को बल्लभगढ़ के विधायक मूलचंद शर्मा, हुडा के मुख्य प्रशासक जी. गणेशन, डीसी अतुल कुमार, नगर निगम के चीफ इंजीनियर डीआर भास्कर समेत अन्य अधिकारियों ने मेट्रो स्टेशन का दौरा कर तैयारियों का जायजा लिया।
सोमवार को एस्कोर्ट्स मुजेसर से बल्लभगढ़ तक हाई स्पीड में मेट्रो का अंतिम ट्रॉयल किया गया। ट्रॉयल पूरी तरह से सफल रहा। करीब 95 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से 4 से 5 बार ट्रॉयल किया गया। प्रधानमंत्री के कार्यक्रम का सीधा प्रसारण बल्लभगढ़ में भी किया जाएगा।
कार्यक्रम स्थल पर प्रोजेक्टर के जरिए प्रसारण होगा। लाइव प्रसारण दोपहर 12.30 बजे से शुरू कर दिया जाएगा। प्रधानमंत्री 12.30 बजे मंच पर पहुंच जाएंगे। करीब एक घंटे 1.30 बजे तक प्रधानमंत्री मौजूद रहेंगे। कार्यक्रम के दौरान हाउसिंग एंड अर्बन अफेयर्स के राज्यमंत्री हरदीप सिंह पुरी, केंद्रीय राज्यमंत्री कृष्णपाल गुर्जर और डीएमआरसी के मैनेजिंग डायरेक्टर मग्गू सिंह, विधायक मूलचंद शर्मा शिरकत करेंगे।
12 से 15 हजार यात्री करेंगे सफर : रेलवे सूत्रों के मुताबिक बल्लभगढ़ रेलवे स्टेशन से ट्रेन के जरिए रोज करीब 13 हजार दैनिक यात्रियों का दिल्ली आना-जाना है। जबकि रोडवेज बसों से करीब 10 से 12 हजार यात्री आते जाते हैं। मेट्रो सेवा शुरू होने से रेलवे और रोडवेज बसों के करीब 8 से 10 हजार यात्री मेट्रो की ओर मुड़ेंगे।
मेट्रो अधिकारियों का अनुमान है कि बल्लभगढ़ से रोज 12 से 15 हजार यात्री मेट्रो से सफर करेंगे। इनमें निजी साधनों से दिल्ली जाने वाले लोग भी शामिल होंगे। इस मेट्रो का फायदा बल्लभगढ़ ब्लॉक से जुड़े 67 ग्राम पंचायतों के यात्रियों को भी होगा।
छह से सात मिनट की रहेगी फ्रीक्वेंसी : मेट्रो सूत्रों का कहना है कि बल्लभगढ़ मेट्रो रेल की फ्रीक्वेंसी छह से आठ मिनट के बीच होगी। अभी वाईएमसीए से चलने वाली मेट्रो रेल की फ्रीक्वेंसी पीक आवर्स (सुबह 8 से 11 बजे, शाम 5 से 8 बजे) में 6 मिनट 40 सेकेंड और नॉन पीक आवर्स में 7 मिनट 30 सेकेंड की होती है।बल्लभगढ़ मेट्रो स्टेशन पहला एेसा स्टेशन होगा जिसके 300 मीटर के दायरे में लोगों को रोडवेज, रेलवे और मेट्रो परिवहन की सुविधा मिलेगी।
नई दिल्ली. आरबीआई के गवर्नर उर्जित पटेल पिछले शुक्रवार को प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी से मिले। सूत्रों से हवाले से सोमवार को यह जानकारी सामने आई। बताया जा रहा है कि मोदी और उर्जित पटेल की मीटिंग में सरकार और रिजर्व बैंक के बीच चल रहे विवाद सुलझाने पर चर्चा हुई।
सूत्रों के मुताबिक ऐसे संकेत मिले हैं कि आरबीआई लघु और मध्यम उद्योगों को कर्ज देने के लिए विशेष इंतजाम कर सकता है। नॉन बैंकिंग फाइनेंस कंपनियों के लिए लिक्विडिटी बढ़ाने और आरबीआई के सरप्लस में से सरकार को रकम जारी करने के मुद्दे पर स्थिति साफ नहीं हो पाई।
पिछले हफ्ते कुछ रिपोर्ट्स में यह दावा किया गया कि केंद्र सरकार ने आरबीआई के सरप्लस में से 3.6 लाख करोड़ रुपए देने का प्रस्ताव रखा था। लेकिन, आरबीआई ने इसे नहीं माना। उसका कहना था कि इससे माइक्रो इकोनॉमी को खतरा हो सकता है।
आर्थिक मामलों के सचिव सुभाष चंद्र गर्ग ने जवाब देते हुए कहा था कि सरकार को फंड की कोई जरूरत नहीं है। आरबीआई को 3.6 लाख करोड़ रुपए ट्रांसफर करने का कोई प्रस्ताव नहीं दिया गया है।
पिछले दिनों सरकार ने आरबीआई की धारा 7 का इस्तेमाल करते हुए रिजर्व बैंक को तीन पत्र भेजे थे। इसके बाद सरकार और आरबीआई के बीच विवाद बढ़ गया। यह खबर भी आई कि सरकार धारा 7 लागू करती है तो उर्जित पटेल इस्तीफा दे सकते हैं।
अक्टूबर में आरबीआई के डिप्टी गवर्नर विरल आचार्य ने कहा था कि सरकार को केंद्रीय बैंक की स्वायत्तता बढ़ानी चाहिए। जो सरकार इसका ध्यान नहीं रखती उसे नुकसान उठाना पड़ता है।
भाजपा अध्यक्ष अमित शाह ने कहा है कि मौजूदा विधानसभा चुनाव साधारण चुनाव नहीं हैं बल्कि देश के लिए "बहुत महत्वपूर्ण" हैं क्योंकि इनमें पार्टी की जीत से नरेंद्र मोदी सरकार की 2019 में सत्ता में वापसी के लिए मजबूत नींव तैयार होगी और पार्टी लंबे समय के लिए "अजेय" हो जाएगी। शाह ने चुनावी राज्य मध्य प्रदेश में पार्टी कार्यकर्ताओं को वीडियो के जरिए संबोधित करते हुए कहा कि भारत को महान और विश्वगुरु बनाने का लक्ष्य पूरा करने के लिए भाजपा का पंचायत से लेकर संसद तक लंबा और निर्बाध शासन होना चाहिए जैसा कांग्रेस को 30 साल से ज्यादा समय तक मिला था।
भारत की राजनीति में राफेल विवाद ने भूचाल मचा कर रख दिया है। लड़ाकू विमान राफेल की खरीदारी को लेकर कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी मे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर भ्रष्टाचार के आरोप लगाए। राहुल ने कहा की मोदी जी ने राफेल डील में बड़ा घोटाला किया है उन्होंने अंबानी की कंपनी को फायदा पहुंचाया और अंबानी से बड़ी डील की। विपक्ष ने राफेल को लेकर मोदी सरकार को कटघरे में खड़ा कर दिया। राहुल गांधी ने फ्रांस की राफेल विमान बनाने वाली कंपनी दसॉल्ट एविएशन पर भी गंभीर आरोप लगाए हैं। जिसके बाद दसॉल्ट एविएशन के सीईओ एरिक ट्रैपियर खुद सामने आये और उन्होंने राहुल गांधी के सभी आरोपो को खारिज करते हुए राहुल गांधी के सभी आरोपो का करारा जबाव दिया।
समाचार एजेंसी एनएनआई के साथ दसॉल्ट एविएशन के सीईओ एरिक ट्रैपियर ने कई खुलासे भी किये। ट्रैपियर ने कहा कि राफेल डील में दसॉल्ट एविएशन और रिलायंस ज्वाइंट वेंचर के ऑफसेट कॉन्ट्रैक्ट को लेकर मैंने झूठ नहीं बोला। इसके साथ ही ट्रैपियर ने साफ किया कि हमने रिलायंस को खुद चुना, इसके अलावा 30 साझेदार और हैं। राहुल गांधी के आरोपों का जवाब देते हुए उन्होंने कहा, ''मैं झूठ नहीं बोलता. मैंने जो बात पहले कही और जो बयान दिया बिल्कुल सही हैं। मैं झूठ बोलने के लिए नहीं जाना जाता। मेरे पद पर आप झूठ नहीं बोल सकते।''
वाराणसी. वाराणसी पहुंचे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रामनगर में बने देश के पहले मल्टी मॉडल टर्मिनल को राष्ट्र के नाम समर्पित किया। मल्टी मॉडल टर्मिनल के उद्घाटन के मौके पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का हेलीकॉप्टर गंगा में बने जेटी पर उतरा। यहां से वो पैदल चलते हुए बंदरगाह के टर्मिनल पर पहुंचे।उनके साथ सीएम योगी ओर केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी भी रहे। इस दौरान उन्होंने निर्माणाधीन प्रशासनिक भवन को भी देखा। इससे पहले वाराणसी एयरपोर्ट पर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के साथ ही उप मुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य तथा केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी व सत्यपाल सिंह के साथ भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष डॉ. महेंद्र नाथ पाण्डेय ने उनका स्वागत किया।
पटना। केंद्रीय मंत्री उपेंद्र कुशवाहा की राष्ट्रीय लोक समता पार्टी के समर्थकों ने बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के बयान के विरोध में शनिवार को पटना में ‘‘आक्रोश मार्च’’ निकाला। गांधी मैदान से शुरू हुए मार्च को राज भवन पहुंचना था लेकिन पुलिस ने इसे गंतव्य से करीब दो किलोमीटर पहले डाक बंगला रोड चौराहे पर रोक दिया। इस दौरान हुई झड़प में दोनों पक्षों के लोग घायल हुए। प्रदर्शनकारी कुमार की कथित ‘‘नीच’’ टिप्पणी के खिलाफ बिहार के राज्यपाल को एक ज्ञापन सौंपना चाहते थे।
यह मार्च तब आयोजित किया गया जब एक दिन पहले कुशवाहा ने यह स्पष्ट किया कि रालोसपा ने भारतीय जनता पार्टी के साथ गठबंधन किया है ना कि जनता पार्टी (यूनाइटेड) के साथ। प्रदर्शनकारियों ने दावा किया कि कुमार ने रालोसपा प्रमुख को ‘‘नीच’’ कहा तथा उन्होंने मुख्यमंत्री से सार्वजनिक तौर पर माफी मांगने की मांग करते हुए नारे लगाए।
नयी दिल्ली। अयोध्या मामले से जुड़े प्रतिवेदनों पर 14 नवंबर को विचार करने से कुछ दिनों पहले राष्ट्रीय अल्पसंख्यक आयोग के अध्यक्ष सैयद गैयूरुल हसन रिजवी ने कहा है कि विवादित स्थान पर राम मंदिर बनना चाहिए ताकि देश का मुसलमान ‘सुकून, सुरक्षा और सम्मान’ के साथ रह सके। उन्होंने यह भी कहा कि इस मामले में उच्चतम न्यायालय को जल्द फैसला करना चाहिए ताकि देश में शांति और भाईचारा मजबूत हो सके। दरअसल, कुछ मुस्लिम संगठनों ने अयोध्या मामले का हवाला देते हुए आयोग के समक्ष प्रतिवेदन दे रखा है और इस मामले में आयोग से पहल करने की मांग की है।
अल्पसंख्यक आयोग 14 नवंबर को अपनी मासिक बैठक में इन प्रतिवेदनों पर विचार करेगा और फिर देश की शीर्ष अदालत से अयोध्या मामले पर जल्द फैसला सुनाने का आग्रह कर सकता है। रिजवी ने ‘भाषा’ के साथ बातचीत में कहा, ‘‘नेशनल माइनॉरिटी वेलफेयर आर्गनाइजेशन तथा कुछ अन्य संगठनों ने हमारे पास प्रतिवदेन देकर कहा है कि इस वक्त मुस्लिम समाज में डर का माहौल है और ऐसे में आयोग अयोध्या के मामले को लेकर पहल करे ताकि माहौल बेहतर हो सके।’’ उन्होंने कहा, ‘‘इन संगठनों का कहना है कि मुस्लिम समाज राम मंदिर बनने दे तथा आगे यह भी सुनिश्चित किया जाए कि ऐसा कोई दूसरा कोई विवाद खड़ा नहीं होगा।’’अल्पसंख्यक आयोग के अध्यक्ष ने कहा, ‘‘मेरी भी यह राय है कि अयोध्या में न कभी मस्जिद बन सकती है, न नमाज हो सकती है। वह स्थान 100 करोड़ हिंदुओं की भावना से जुड़ा है। इसलिए वह जमीन राम मंदिर के लिए हिंदुओं को सौंप दी जानी चाहिए ताकि मुसलमान सुकून, सुरक्षा और सम्मान के साथ रहे सकें और देश के विकास में बराबर की भागीदारी कर सकें।’’ उन्होंने कहा, ‘‘14 नवंबर की बैठक में हम इन प्रतिवेदनों पर चर्चा करेंगे। यह मामला न्यायालय के विचाराधीन है और ऐसे में आयोग सिर्फ यही आग्रह कर सकता है कि मामले में जल्द फैसला सुनाया जाए।’’रिजवी ने कहा, ‘‘इस मामले में मेरा भी यह मानना है कि न्यायालय को जल्द फैसला सुनाना चाहिए ताकि समाज में शांति और भाईचारा मजबूत हो सके।’’