ईश्वर दुबे
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Bhilai
लंदन । इंग्लैंड के पूर्व बल्लेबाज केविन पीटरसन ने टीम इंडिया के कप्तान विराट कोहली की जमकर तारीफ करते हुए कहा कि ऑस्ट्रेलियाई बल्लेबाज स्टीव स्मिथ उनसे कहीं पीछे हैं। पीटरसन ने कहा कि रनों का पीछा करने के मामले में विराट ने महान बल्लेबाज सचिन तेंदुलकर को भी पीछे छोड़ दिया है। वर्तमान समय में कई बार स्मिथ और कोहली की तुलना होत है पर पीटरसन के अनुसार ऑस्ट्रेलिया का यह पूर्व कप्तान कोहली के करीब भी नहीं है। पीटरसन ने जिम्बाब्वे के पूर्व क्रिकेटर पॉमी एमबांग्वा के साथ सोशल मीडिया पर कहा, ‘‘ कोहली शानदार है। रनों का पीछा करते समय उसका रिकार्ड बेहद शानदार है। लगातार दबाव के बीच उतरने हुए भी हुए भी वह भारत को मैच जिताता है।’’ जब एमबांग्वा ने पीटरसन से कोहली और तेंदुलकर में से किसी एक का चयन करने को कहा तो इस बल्लेबाज ने कहा, ‘‘ मैं फिर से कोहली का नाम लूंगा, रनों का पीछा करने में वह सबसे बेहतर है। ऐसे में उसका औसत 80 का है और उसने ज्यादातर शतकीय पारी रनों का पीछा करते हुए ही खेली हैं। पीटरसन ने कहा, ‘‘वह लगातार भारत के लिए मैच जीतता है। रनों का पीछा करने में उसका आंकड़ा और बेहतर होता जा रहा है।’’
लुसाने । अंतर्राष्ट्रीय ओलम्पिक समिति (आईओसी) के अध्यक्ष थॉमस बाक ने कहा है कि स्थगित हुए टोक्यो ओलम्पिक की अगले साल मेजबानी के लिए आईओसी 80 करोड़ डॉलर की सहायाता अपनी ओर से देगा। टोक्यो ओलम्पिक इस साल जुलाई-अगस्त में होने थे पर कोरोना वायरस महामारी के कारण इन खेलों को एक साल 2021 तक के लिए स्थगित करना पड़ा था। बाक ने आईओसी के कार्यकारी बोर्ड के साथ हुई बैठक के बाद कहा, "हमने अनुमान लगाया है कि हमें टोक्यो की मेजबानी के लिए 80 करोड़ डॉलर का खर्च उठाना होगा।"
बाक ने कहा, "इसमें से 65 करोड़ डालर खेलों के आयोजन में जाएंगे जबकि बाकी के 15 करोड़ अंतर्राष्ट्रीय महासंघों और राष्ट्रीय ओलम्पिक समिति (एनओसी) की मदद करने में खर्च होंगे।"खेलों के स्थगित होने के बाद यह पहली बार है जब आईओसी ने खेलों की मेजबानी में लगने वाली अतिरिक्त राशि पर अपने योगदान को लेकर कोई बात कही है। इस दौरान उन्होंने खेलों को दोबारा स्थगित करने की संभावनाओं को खारिज कर दिया। साथ ही कहा कि हम खेलों के सफल आयोजन का पूरा प्रयास करेंगे। उन्होंने कहा कि अभी एक साल से अधिक समय है इसलिए अभी से किसी प्रकार की नकारात्मक अटकलें लगाना गलत है।
नई दिल्ली। भारतीय खेल प्राधिकरण (साइ) ने कहा है कि अगर सरकार से राहत मिलती है तो अभ्यास शिविर शुरु किया जा सकता है पर इस दौरान कोरोना संक्रमण से बचाव के लिये कुछ सुरक्षा उपाय अपनाने होंगे जिसमें कम वेंटीलेशन वाले चेंजिंग रूम हटाये जाने, ट्रेनिंग उपकरणों को इस्तेमाल के बाद हर बार संक्रमण रहित करना, शिफ्ट में जिम के इस्तेमाल के अलावा ‘स्पारिंग’ (जोड़ीदार के साथ अभ्यास) पर प्रतिबंध शामिल है। साइ ने सुरक्षा उपायों का एक विस्तृत मसौदा तैयार किया है जिनका इस महीने के अंत में अपने ट्रेनिंग केंद्रों को फिर से खोलने से पहले पालन किया जायेगा। छह सदस्यीय समिति ने 33 पन्ने का यह दस्तावेज बनाया है, जिसे अभी खेल एवं स्वास्थ्य मंत्रालय द्वारा स्वीकृति दिया जाना बाकी है। इस दस्तावेज में प्रस्तावों के अनुसार वायरस से बचने के लिये आरोग्य सेतु एप सभी खिलाड़ियों और स्टाफ के लिये डाउनलोड करना अनिवार्य होगा, ट्रेनिंग स्थलों पर कड़ाई से सामाजिक दूरी के नियमों का पालन करना होगा, ड्यूटी पर मौजूद चिकित्सा कर्मियों को पीपीई किट का इस्तेमाल करना होगा, स्वच्छता संबंधित उपायों को बढ़ाना होगा और खिलाड़ियों के स्वास्थ्य पर कड़ी निगरानी रखना शामिल है। साइ ने इस दस्तावेज को राष्ट्रीय खेल महासंघों (एनएसएफ) के पास भेज दिया कि वे सिफारिशों में अपना पक्ष दे सकें। साथ ही कहा कि अंत में ट्रेनिंग फिर से शुरू होना गृह मंत्रालय के दिशानिर्देशों पर निर्भर करेगा। अगर गृह मंत्रालय तीसरे लॉकडाउन के बाद अपने आगामी दिशानिर्देशों में खेल गतिविधियों पर रोक बरकरार रखता है जैसा कि पिछले दिशानिर्देशों में था तो खेल मंत्रालय ट्रेनिंग शुरू नहीं कर सकता।
लंदन । क्रिकेट वेस्टइंडीज बोर्ड के मुख्य कार्यकारी जॉनी ग्रेव ने कहा है कि अगर कैरेबियाई खिलाड़ी कोरोना वायरस संक्रमण के खतरे को देखते हुए इंग्लैंड दौरे पर जाने के लिए तैयार नहीं होंगे तो उनपर किसी भी प्रकार का दबाव नहीं बनाया जाएगा। वेस्टइंडीज की टीम को तीन टेस्ट मैचों की श्रृंखला के लिये इंग्लैंड दौरे पर जाना है हालांकि इस दौरे को अभी जुलाई तक स्थगित कर दिया गया है। ग्रेव ने कहा कि कई खिलाड़ियों से इस बारे में विचार विमर्श किया गया और उनमें से किसी को भी दौरे के लिये बाध्य नहीं किया जाएगा। उन्होंने कहा, ‘‘इस दौरे पर कोई ऐसा खिलाड़ी नहीं होगा जिसे जबरदस्ती टीम में शामिल किया गया हो।’’ग्रेव ने कहा, ‘‘अगर आप ऐसे देश में पले बढ़े हो जहां की जनसंख्या केवल 60,000 या 70,000 है तो उनके लिये ब्रिटेन में 30,000 लोगों की मौत होना बहुत बड़ी बात है।’’ वहीं इंग्लैंड एवं वेल्स क्रिकेट बोर्ड (ईसीबी) खिलाड़ियों को अलग थलग रखने और उनके लिये पूरी तरह सुरक्षित वातावरण तैयार करने पर विचार कर रहा है। पूरी संभावना है कि मैच खाली स्टेडियमों में ही खेले जाएंगे। ग्रेव ने कहा कि वेस्टइंडीज के खिलाड़ी अलग-अलग द्वीपीय देशों के रहने वाले हैं जहां वायरस के कारण अलग अलग तरह की पांबदियां हैं, ऐसे में उन्हें एक जगह एकत्रित करना भी चुनौती होगी पर यह असंभव नहीं होगा।
जमैका । कोरोना वायरस महामारी के कारण अभी दुनिया भर में क्रिकेट सहित सभी खेल रुके हुए हैं पर अब एक बार फिर इनकी शुरुआत होने जा रही है। ज्यादातर देशों में लॉकडाउन समाप्त होने जा रहा है और ऐसे में अन्य खेलों की तरह ही क्रिकेट की भी शुरुआत का प्रयास हो रहा है। वेस्टइंडीज में सबसे पहले घरेलू टूर्नामेंट से क्रिकेट की वापसी हो सकती है। विंसी प्रीमियर लीग (वीपीएल)- छह टीमों का एक टी10 टूर्नमेंट है। यह 22 मई से 31 मई के बीच खेला जाएगा। पूर्वी कैरेबियाई द्वीप देश सैंट विंसेंट ऐंड द ग्रेनाडिनस द्वीप पर यह लीग खेली जाएगी हालांकि पैसेफिक में वनातू में महामारी के बाद क्रिकेट की शुरुआत सबसे पहले हुई है, पर वीपीएल पहली लीग होगी जो मार्च में वैश्विक महामारी के बाद आईसीसी के किसी पूर्ण सदस्यीय देश में शुरू होगी। जिसमें अंतरराष्ट्रीय खिलाड़ी भी भाग लेंगे।
इसमें 6 फ्रैंचाइजी के कुल 72 खिलाड़ी भाग लेंगे। फ्रैंचाइजी ने 11 मई को ही खिलाड़ियों का चयन किया है। इसमें तीन केसरिक विलियम्स, सलामी बल्लेबाज सुनील ऐम्ब्रिस और बाएं हाथ के तेज गेंदबाज ओबेड मैककॉय भी शामिला हैं। यह तीनों ही अंतरराष्ट्रीय क्रिकेटर हैं। इस लीग में कुल 30 मैच खेले जाएंगे। इस प्रकार कुल 3 मैच होंगे।
वीपीएल में गेंदबाज गेंद चमकाने के लिए लार का इस्तेमाल नहीं कर पायेंगे। कोरोना संक्रमण के खतरे को देखते हुए लार के इस्तेमाल पर यह रोक लगायी गयी है हालांकि दर्शकों के स्टेडियम में आने पर कोई रोक नहीं लगी है। सैंट विंसेंट एंड द ग्रेनाडिनस द्वीप क्रिकेट असोसिएशन के अध्यक्ष किशोर शैलो ने कहा, 'बेशक, हमने खिलाड़ियों के लिए अलग जगह तय की हैं, पेविलियन इस तरह तैयार किए हैं कि खिलाड़ियों को भीड़ से बचाया जा सके। हर टीम के पास अपनी जगह होगी और वह पर्याप्त शारीरिक दूरी रख सकती है।'
कोलकाता । टीम इंडिया के लिए खेल चुके और पश्चिम बंगाल में ‘छोटे दादा’ के नाम से प्रसिद्ध मनोज तिवारी ने सैकड़ा जड़ने के बाद टीम से बाहर किए जाने के बारे में खुलकर बात की। मनोज ने एक इंटरव्यू में कहा कि उन्होंने कभी टीम से बाहर किए जाने के संबंध में धोनी से सवाल नहीं किया। मनोज ने कहा, ‘मैंने कभी नहीं सोचा था कि अपने देश के लिए 100 रन बनाने के बाद, मैन ऑफ द मैच लेने के बाद मैं अगले 14 मैचों तक अंतिम-11 में नहीं आऊंगा लेकिन इस बात का भी सम्मान करता हूं कि कप्तान, कोच और टीम प्रबंधन के भी अपने विचार होते हैं। एक खिलाड़ी के तौर पर हमें उनके फैसलों का सम्मान करना चाहिए, क्योंकि हो सकता है कि उनकी अलग रणनीति हो।’ उन्होंने कहा, ‘मुझे उस समय मौका नहीं मिला या यूं कहें कि मुझे में माही के पास जाने की हिम्मत नहीं थी, क्योंकि हम अपने सीनियरों का इतना सम्मान करते थे कि हम उनसे सवाल करने से बचते थे। इसलिए मैंने अभी तक उनसे सवाल नहीं किया।’ 34 वर्षीय मनोज ने कहा कि जब वह राइजिंग पुणे सुपरजाएंट्स में धोनी के साथ खेल रहे थे, तब उन्होंने कप्तान से यह सवाल पूछने के बारे में सोचा था, लेकिन वह आईपीएल के दबाव को देखकर रुक गए। दाएं हाथ के इस बल्लेबाज ने कहा, ‘मैंने सोचा था कि बाद में कभी पूछूंगा।’
मनोज ने हाल ही में अपनी कप्तानी में बंगाल को रणजी ट्रोफी के फाइनल में पहुंचाया था लेकिन वह टीम को खिताब नहीं दिला सके। मनोज ने मुंबई के पृथ्वी साव और श्रेयस अय्यर को भविष्य का सितारा बताया है। उन्होंने कहा, ‘अय्यर अगर कुछ मैचों में अच्छा नहीं भी करते हैं तो भी मेरी नजर मे बेहतर ही रहेंगे। उनके अलावा मैं साव को देखता हूं, अगर वह शांत रहकर आगे बढ़ते हैं और अनुशासन में रहते हैं तो निश्चित तौर पर वह काफी आगे जाएंगे।’
मैड्रिड । स्पेन के शीर्ष टेनिस स्टार राफेल नडाल का मानना है कि कोरोना वायरस महामारी के चलते हुए लॉकडाउन के समाप्त होने के बाद भी टेनिस मुकाबलों के खुलने में समय लगेगा। वहीं सर्बियाई खिलाड़ी नोवाक जोकोविच के अनुसार टेनिस कोर्ट में दर्शकों की वापसी में अभी काफी समय लगेगा। जोकोविच ने कहा कि खिलाड़ियों को कुछ महीनों तक इंतजार करना होगा। फ्रेंच ओपन सितंबर तक स्थगित किया गया है है। इससे पहले अमेरिकी ओपन भी स्थगित हुआ जबकि विम्बलडन द्वितीय विश्व युद्ध के बाद पहली बार रद्द किया गया। दर्शकों की मौजूदगी में रोलां गैरां या फ्लशिंग मिडोज पर ग्रैंडस्लैम टूर्नामेंट खेले जाने की संभावना काफी कम हैं। नडाल ने कहा, ‘टेनिस वैश्विक खेल है। हम एक से दूसरे देश जाते हैं और इसके लिए काफी लोग एक दूसरी जगह जाते हैं।’उन्होंने कहा, ‘मुझे किसी भी टूर्नामेंट के जल्दी शुरू होने की संभावना नहीं दिखती है।’ साथ ही कहा कि फुटबॉल की प्रमुख लीग अपना सत्र पूरा करने के लिए कई हफ्तों तक दर्शकों के बिना खेलने की तैयारी में लगी हैं ताकि प्रसारण अनुबंधों के नुकसान से बचा जा सके।वहीं कहा कि टेनिस टूर्नामेंट अपने राजस्व के लिए दर्शकों पर सबसे ज्यादा निर्भर हैं जिससे खाली स्टेडियम में इनका आयोजन आसान नहीं होगा। जोकोविच भी इसमें नडाल से सहमत हैं। उन्होंने कहा, ‘मैं तैयार हूं लेकिन मुझे लगता है कि हमें कुछ महीनों तक इंतजार करना होगा।’ नडाल ने कहा, 'अगर आप दर्शकों के बिना खेल सकते हैं तो मुझे खुशी होगी पर मुझे यह काफी मुश्किल लगता है।
लाहौर । पाकिस्तान के पूर्व कप्तान वसीम अकरम ने कहा कि तेज गेंदबाज जसप्रीत बुमराह को इंग्लैंड में काउंटी क्रिकेट खेलने नहीं जाना चाहिए। अकरम के अनुसार बुमराह पहले ही अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट के तीनों प्रारुपों में खेल रहे हैं, ऐसे में उनके लिए काउंटी में खेलना जरुरी नहीं है। बुमराह ने अभी तक काउंटी क्रिकेट नहीं खेला है और वह इंडियन प्रीमियर लीग (आईपीएल) के शीर्ष गेंदबाजों में से एक हैं। आईपीएल का कार्यक्रम भी काफी व्यस्त होता है पर अभी कोरोना वायरस के कारण उसे टाल दिया गया है। अकरम ने कहा, ‘अब काफी क्रिकेट खेला जा रहा है पर बुमराह जैसे शीर्ष गेंदबाज को काउंटी में खेलने जाने की जगह तरोताजा होने के लिए आराम करना चाहिये। उन्हें काउंटी क्रिकेट खेलने जाने की कोई जरुरत नहीं है। वहीं युवा खिलाड़ियों को ही गेंदबाजी सीखने के लिए प्रथम श्रेणी क्रिकेट में ज्यादा खेलना चाहिए।’ इस पूर्व तेज गेंदबाज ने कहा कि टी20 के दौर में भी टेस्ट क्रिकेट का महत्व सबसे ज्यादा है। अकरम ने माना कि टी20 शानदार प्रारुप है। इसके साथ ही वहां काफी पैसा है पर कहा कि टी20 में कोई गेंदबाजी की कला नहीं सीख सकता। इसलिए मैं खिलाड़ियों को टी20 के प्रदर्शन पर नहीं आंकता हूं, मैं उनका आंकलन टेस्ट मैच के प्रदर्शन के आधार पर ही करता हूं। साथ ही कहा कि खिलाड़ियों के लिए पैसे की जरूरत को भी मैं समझता हूं। इसलिए उन्हें इसमे भी खेलने को कह रहा हूं।
मेलबर्न । ऑस्ट्रेलिया की महिला क्रिकेटर एलिस पैरी के अनुसार इस साल हुए टी20 विश्व कप से महिला क्रिकेट के प्रति लोगों का आकर्षण बढ़ा है। पैरी के अनुसार यह विश्व कप कई प्रकार से अभूतपूर्व रहा। इस टूर्नामेंट ने जहां दर्शकों को अपनी तरफ आकर्षित किया वहीं इससे क्रिकेट की लोकप्रियता भी तेजी से बढ़ी है। एलिसा हैमस्ट्रिंग सर्जरी के कारण टूर्नामेंट के अंतिम मुकाबले नहीं खेल पाई थीं, पर इसका उन्हें कोई पछतावा नहीं है क्योंकि यह टूर्नामेंट उनके या उनकी टीम के लिए नहीं बल्कि पूरे महिला क्रिकेट के लिए बेहद अहम था। भारत के खिलाफ हुआ इसका फाइनल मुकाबला महिला क्रिकेट का सबसे ज्यादा देखा जाने वाला मैच रहा था। एक प्रकार से महिला क्रिकेटरों के लिए यह माहौल पूरी तरह से अलग था क्योंकि वे खाली स्टेडियम में खेलने की आदी थीं। पैरी ने क्रिकेट ऑस्ट्रेलिया (सीए) की वेबसाइट से कहा, ‘व्यक्तिगत रूप से यह मेरे लिए खराब समय था क्योंकि मैं पूरा टूर्नमेंट खेलना पसंद करती, इसमें कोई संदेह नहीं है। साथ ही कहूं तो यह टूर्नामेंट केवल मेरे लिए नहीं रहा।’ पैरी ने कहा, ‘कभी कभार मैं टूर्नमेंट के बारे में सोचती हूं और विशेषकर फाइनल के बारे में तो मैं यह नहीं सोचती कि यह हमारी टीम को लेकर था। यह महिला क्रिकेट के बारे में था, जिसने अनौखा माहौल पैदा किया था। इसका प्रभाव आगे भी बना रहेगा।’
बेंगलुरु । पूर्व भारतीय कप्तान और कोच अनिल कुंबले ने कोविड-19 महामारी के खिलाफ लड़ाई की तुलना दिलचस्प टेस्ट मैच की 'दूसरी पारी' से की है, जिसमें लोग थोड़ी भी ढिलाई नहीं बरत सकते। इस महामारी के चलते पूरी दुनिया में खेल प्रतियोगिताएं रद्द या स्थगित हो चुकी हैं, जिसमें तोक्यो ओलिंपिक, यूरोपीय फुटबॉल चैम्पियनशिप और इंडियन प्रीमियर लीग शामिल है। कुंबले ने अपने ट्विटर अकाउंट पर वीडियो पोस्ट कर कहा, अगर हमें इस कोरोना से लड़ना है,तब हमें एकजुट होना होगा। यह एक टेस्ट मैच की तरह है। क्रिकेट टेस्ट मैच पांच दिनी होते हैं लेकिन यह लंबे समय तक चल रहा है।' उन्होंने कहा, 'क्रिकेट टेस्ट मैच प्रत्येक टीम के लिए दो-दो पारियों के होते हैं लेकिन यह इससे भी ज्यादा का हो सकता है।इसकारण आत्ममुग्ध मत बनिए कि हमने पहली पारी में थोड़ी बढ़त ले ली क्योंकि दूसरी पारी और भी मुश्किल हो सकती है।' कुंबले ने कहा, हमें इस लड़ाई को जीतना होगा, यह पहली पारी की बढ़त के आधार पर नहीं जीती जा सकती, हमें इसे पटखनी देकर जीतना होगा।' इस पूर्व लेग स्पिनर ने साथ ही स्वास्थ्यकर्मियों और अन्य का धन्यवाद किया जो काम पर जा रहे हैं, जिससे लोग घर पर रहकर सुरक्षित रह सकें।
रांची । दुनिया में कोरोना का हाहाकरा मचा हुआ है। कोरोना के कारण देश में लॉकडाउन लागू है।लाकडाउन में धोनी भी अपने घर पर ही आराम फरमा रहे हैं।इस बीच धोनी खुद अपने सोशल मीडिया अकाउंट पर सक्रिय नहीं रहते लेकिन उनकी पत्नी साक्षी धोनी और बेटी जीवा धोनी के इंस्टाग्राम अकाउंट से फैंस धोनी की झलक देखते रहते हैं। धोनी को आपने बियर्ड लुक में बेहद कम मौकों पर देखा होगा। लेकिन धोनी इन दिनों लॉकडाउन में अपना यह शौक पूरा कर रहे हैं।जीवा धोनी के इंस्टाग्राम अकाउंट पर एक वीडियो पोस्ट किया गया।वीडियो धोनी और जीवा अपने एक डॉग के साथ टेनिस बॉल से थ्रो गेम खेल रहे हैं। वीडियो में धोनी अपने छोटे-छोटे बालों वाले हेयरकट में दिख रहे हैं। लेकिन अक्सर क्लीन शेव्ड दिखने वाले धोनी इस बार फुल बीयर्ड लुक में नजर आ रहे हैं। धोनी की पूरी दाढ़ी सफेद हो चुकी है। धोनी का यह फॉर्म हाउस रांची में 7 एकड़ से अधिक जमीन पर बनाया गया है। यहां धोनी ने नेट प्रैक्टिस, फील्ड, एक अल्ट्रा मॉडर्न जिम के अलावा फूलों के बगीचों का खास इंतजाम किया है। यानी धोनी के पास अपनी प्रैक्टिस के लिए क्रिकेट के सभी आधुनिक उपकरण मौजूद हैं।
हैदराबाद । टेनिस स्टार सानिया मिर्जा ने कहा है कि युवा महिला खिलाड़ियों को कोचिंग देते समय काफी संवेदनशील रहने की जरूरत है। सानिया ने यह बात अखिल भारतीय टेनिस संघ (एआईटीए) और भारतीय खेल प्राधिकरण (साई) द्वारा भारतीय प्रशिक्षकों के लिए आयोजित किए गए कार्यक्रम में कही। सानिया ने कहा, "जब लड़कियां युवा अवस्था में आती हैं तो कई चीजों से गुजरती हैं।" इसके साथ ही उन्होंने कहा, "आपके शरीर में अंदरूनी तौर पर काफी बदलाव होते हैं और बाहरी तौर पर भी। आप सर्वश्रेष्ठ टेनिस खिलाड़ी बनने की कोशिश करते हो और साथ ही आपके शरीर में हार्मोनल बदलाव होते हैं जिससे कई परेशानियां आती हैं जो जिंदगी भर बनी रहती हैं।" उन्होंने कहा, "आप उनको लेकर थोड़े बहुत संवेदनशील हो सकते हैं और कई बार टेनिस खिलाड़ी बनने के साथ-साथ वो अपने आप को भी खोजती रहती हैं, इसलिए उनके साथ काम करना काफी मुश्किल होता है।"सानिया ने इसी साल जनवरी में होबार्ट इंटरनेशनल के महिला युगल वर्ग में जीत के साथ वापसी की थी। सानिया से जब टेनिस खिलाड़ी और मां की दोहरी जिम्मेदारी निभाने के बारे में पूछा तो उन्होंने कहा, "जैसे मैंने सभी चीजों को संभाला। मैं टेनिस और मातृत्व दोनों को संभाल रही हूं। मैं भाग्यशाली हूं कि मेरी मदद करने वाले लोग मेरे आस-पास हैं। यह मेरे लिए बहुत बड़ी बात है।"
मैंड्रिड । स्पेन और पुर्तगाल फुटबॉल जगत की दो सबसे पुरानी प्रतिद्वंदी रहीं हैं। इसके पीछे दोनों का राजनीतिक इतिहास जिम्मेदार रहा जिस कारण ये हमेशा ही एक -दूसरे के खिलाफ जीत चाहती हैं। पहले इनके होने वाली जंग की जगह अब फुटबॉल के मैदान ने ले ली है। आज भी दोनो ही देश के प्रशंसक अपनी टीमों को हारता हुआ नहीं देखना चाहते। दोनों टीमों के बीच पहला मुकाबला दोस्ताना मुकाबला था जो 18 दिसंबर 1921 में खेला गया था। मैड्रिड में खेले गए इस मैच में स्पेन ने पुर्तगाल को 3-1 से हराया था। इसके बाद 1926 में दोनों का मुकाबला 2-2 से बराबरी पर रहा। पुर्तगाल को पहली जीत 1947 में मिली जब वह 4-1 से जीत हासिल करने में सफल रहा। तभी से अभी तक 36 बार दोनों एक-दूसरे के सामने आये हैं। इसमें से स्पेन को 18 जबकि पुर्तगाल को केवल छह बार जीत मिली है।
आज तक दोनों के बीच मुकाबलों के रिकॉर्ड को देखकर स्पेन का पलड़ा भारी दिखता है। अब तक खेले गए 36 मैचों में पुर्तगाल ने छह जबकि स्पेन ने 18 मुकाबले जीते हैं। इनमें से 14 मैच ड्रॉ रहे। दोनों टीमें आज तब फीफा विश्व कप में छह बार आमने-सामने आई हैं जिसमें चार बार स्पेन जीता हैं, वहीं दो मुकाबले ड्रॉ रहे हैं। पुर्तगाल एक बार भी जीत हासिल नहीं कर पाया है। वहीं यूएफा यूरोपियन चैंपियनशिप में दोनों के बीच तीन मैच खेले गए हैं जिसमें पुर्तगाल ने एक मैच जीता है वहीं एक मैच ड्रॉ रहा है.दोस्ताना मैचों की बात करें तो 27 मैचों में पुर्तगाल ने पांच और स्पेन ने 12 मुकाबले जीते हैं, इसके अलावा 10 मैच ड्रॉ रहे। स्पेन ने 2010 में फीफा विश्व कप का खिताब जीता। वहीं पुर्तगाल अब तक ऐसा करने में नाकाम रहा है। यूईएफा चैंपियनशिप में स्पेन 1964,2008 औऱ 2012 में चैंपियन रहा है वहीं पुर्तगाल केवल 2016 में चैंपियन रहा। ओलिंपिक खेलों में भी स्पेन आगे है जिसने 1920 में रजत पदक हासिल किया वहीं पुर्तगाल अब तक कोई पदक नहीं जीत पाया है।
सिडनी । ऑस्ट्रेलिया के युवा बल्लेबाज मार्नुस लाबुशेन का मानना है कि कोरोना महामारी से उबरने के बाद जब एक बार फिर क्रिकेट शुरू होगा तो खेल कार्यक्रम काफी व्यस्त रहेगा क्योंकि अभी सभी टूर्नामेंट स्थगित या रद्द हो गये हैं। वापसी के बाद ये सभी एक के बाद एक आयोजित हो सकते हैं जबकि समय कम रहेगा। लाबुशेन ने कहा, ‘‘ लॉकडाउन के दौरान जो क्रिकेट नहीं हो रहा उसकी भरपाई के लिए काफी दौरे होंगे।’’ उन्होंने कहा, ‘‘ ऐसे में कम समय में ही बहुत सारे मैच खेलने होंगे। हमें बचे हुए मैचों को भी पूरा करना होगा। इस प्रकार कुल मिलाकर देखा जाये तो कार्यक्रम काफी व्यस्त होगा।’’ इस महामारी के कारण ऑस्ट्रेलिया का न्यूजीलैंड दौरा पहले मैच के बाद ही रद्द हो गया। इसके अलावा टी20 विश्व कप के आयोजन पर भी संशय छा गया है। इसके अलावा आईपीएल भी स्थगित हो गया है। आईपीएल में भी काफी ऑस्ट्रेलियाई खिलाड़ी खेलते हैं।