छत्तीसगढ़

छत्तीसगढ़ (17642)

देश भर में लोकसभा चुवान की गर्मा-गर्मी चल रही है इसी बीच चुनाव से ठीक पहले नक्सलियों ने छत्तीसगढ़ के दंतेवाड़ा जिले में एक बड़ी घटना को अंजाम दिया है। नक्सलियों ने दंतेवाड़ा के कुआकोण्डा थाना क्षेत्र के श्यामगिरी में IED ब्लास्ट कर किया। नक्सलियों की तरफ से ये बड़ी कार्यवई की गई है। बीजेपी विधायक भीमा मंडावी के काफिले पर नक्सलियों ने घात लगाया था।

ब्लास्ट के बाद बीजेपी विधायक भीमा मंडावी की मौत हो गई है। सूत्रों के अनुसार काफिले के 5 जवान शहीद हुए है लेकिन अभी इसकी कोई भी अधिकारिक पुष्टि नहीं हुई है। ब्लास्ट में सुरक्षा बल के जवानों को बड़ा नुकसान होने की सूचना भी मिली है। डीआईजी सुंदरराज पी. ने बताया कि घटना की जानकारी मिली है। मौके पर सुरक्षा बल के अतिरिक्त जवानों को रवाना कर दिया गया है। विस्तृत जानकारी का इंतजार है। 

राज्य के नक्सल विरोधी अभियान के महानिदेशक गिरधारी नायक ने आज यहां भाषा को बताया, ‘‘जिले के बचेली क्षेत्र में श्यामगिरी के करीब नक्सलियों ने बारूदी सुरंग में विस्फोट किया है। इस घटना में दंतेवाड़ा विधानसभा सीट से भारतीय जनता पार्टी के विधायक भीमा मंडावी के काफिले में चल रहे वाहन में सवार तीन लोग घायल हो गए हैं। नक्सलियों ने विस्फोट के बाद गोलीबारी भी की है।’’ 

नायक ने बताया, ‘‘पुलिस को जनकारी मिली है कि भीमा मंडावी का काफिला आज बचेली से कुआकोंडा की ओर रवाना हुआ था। काफिला जब श्यामगिरी के करीब था तब नक्सलियों ने बारूदी सुरंग में विस्फोट कर दिया। इस घटना में वाहन क्षतिग्रस्त हो गया तथा उसमें सवार तीन लोग घायल हो गए। घटना के बाद नक्सलियों ने गोलीबारी भी है।’’ उन्होंने बताया कि घटना की जानकारी मिलने के बाद क्षेत्र के लिए अतिरिक्त बल रवाना किया गया है।

रायपुर । एम्स, मेडिकल कॉलेज और सैकडों पीएचसी, सीएचसी की बड़ी-बड़ी बिल्डिंग, फिर भी स्वास्थ्य सेवाएं अगर वेंटीलेटर पर हैं तो आम जनता की चिंता बढ़ना लाजिमी है। राज्य की बड़ी आबादी के पास इतनी आर्थिक कूबत नहीं कि निजी अस्पतालों में इलाज का बोझ उठा सके।

गंभीर बीमारियों में सरकारी मदद के बिना उबर पाना गरीबों के लिए आसान कहां। योजनाएं बनती हैं लेकिन लाभ कितना हो पाता है, इसकी पोल जमीनी रिपोर्ट में खुलती रही है। स्वास्थ्य बीमा जैसी योजनाएं राहत तो लेकर आईं लेकिन कंपनियों पर लूट के आरोप भी चस्पा होते रहे।

अब भारत सरकार ने आयुष्मान भारत योजना की शुरूआत की है लेकिन यह योजना भी छत्तीसगढ़ में धरातल पर उतरने से पहले ही विवादों में आ गई। निजी चिकित्सकों और चिकित्सालयों ने योजना को खारिज कर दिया। राज्य में नवगठित कांग्रेस सरकार भी इस योजना के बदले दूसरी महत्वाकांक्षी योजना लाने का ताना-बाना बुन रही हैं।

पिछले दिनों राज्य के दौरे पर आए कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष राहुल गांधी ने छत्तीसगढ़ समेत तीन राज्यों में कांग्रेस सरकार की नई स्वास्थ्य नीति की पुरजोर वकालत के साथ ही महत्वपूर्ण बात यह भी कही कि हेल्थ सेक्टर में बजट पर्याप्त होना चाहिए।

विसंगति यह भी कि छत्तीसगढ़ सरकार ने चालू वित्तीय वर्ष में स्वास्थ्य का बजट घटा दिया है। स्वास्थ्य सेवाएं पहले से ही बदहाल हैं। बड़ा मुद्दा यह कि अब सेहत पर सियासत में आम लोगों का क्या होगा....।।।

छह मेडिकल कॉलेजों को जरुरत पूरी करने में लगेंगे 22 साल

राज्य में अभी छह सरकारी मेडिकल कॉलेज हैं। हर वर्ष वहां से करीब 11 सौ डॉक्टर बन रहे हैं। ऐसे में डब्ल्यूएचओ के मापदंड के अनुसार डॉक्टरों की जरूरत पूरी करने में 22 वर्ष लग जाएंगे, लेकिन यह भी सच्चाई है कि यहां से पढ़ने के बाद ज्यादातर डॉक्टर निजी सेक्टर या दूसरे राज्यों में चले जाते हैं।

हर साल औसतन 50 लाख मरीज हर साल औसतन 50 लाख मरीज प्रदेश के अस्पतालों में पंजीकृत (ओपोडी रजिस्ट्रेशन) होते हैं। इनमें लगभग 41 लाख और करीब 12 लाख पुराने मरीज होते हैं। यह संख्या धीरे-धीरे बढ़ती जा रह है।

भवन और उपकरण लेकिन चलाने वाले नहीं

राज्य में अस्पताल के नाम पर बड़े पैमाने पर भवन बना दिए गए हैं। वहां उपकरण भी उपलब्ध करा दिया गया है, लेकिन डॉक्टर और तकनीकी स्टॉफ नहीं है। इसका सबसे ज्यादा बुरा असर ग्रामीण क्षेत्रों पर पड़ रहा है। आदिवासी क्षेत्रों से आज भी लोग बैगा गुनिया के पास जाते हैं।

बस्तर व सरगुजा संभाग में स्थिति दयनीय

बस्तर और सरगुजा संभाग की स्थिति सबसे खराब है। यहां पर डॉक्टरों के सेटअप के ही पद नहीं भरे जा सके हैं। डब्लूएचओ के मानक के अनुसार डॉक्टरों की उपलब्धता तो दूर की बात है। बस्तर संभाग में विशेषज्ञ डॉक्टरों के जहां 95 फीसदी पद खाली हैं, वहीं चिकित्सा अधिकारियों के 56 फीसदी पद रिक्त हैं। वहीं इन दोनों संभागों में दंत चिकित्सकों के कुल स्वीकृत 25 में से 24 पद यानी 96 फीसदी पद खाली हैं।

 डेंटल में तो सबसे बुरा हाल

प्रदेश में डेंटल डॉक्टरों की भी भारी कमी है। यहां डेंटल की 91 फीसदी डॉक्टरों के पद खाली हैं। राज्य में डेंटल के कुल 112 पद स्वीकृत हैं, इनमें से केवल 10 पर ही दंत चिकित्सक पदस्थ हैं। शेष 102 पद खाली हैं। सबसे बुरा हाल बस्तर का है। यहां डेंटल के एक भी डॉक्टर पदस्थ नहीं है। बस्तर संभाग के 14 में से 14 पद और सरगुजा में 11 में से 10 पद खाली पड़े हैं, जबकि रायपुर संभाग में 69 में से 63 पद और बिलासपुर संभाग में 18 में से 15 पद खाली हैं।

रायपुर। कांग्रेस के बाद अब बहुजन समाज पार्टी ने लोकसभा चुनाव के लिए छत्तीसगढ़ में अपने 6 प्रत्याशियों के नाम की घोषणा कर दी है।

दो दिन पहले कांग्रेस ने अपने पांच प्रत्याशियों की सूची जारी की थी। बसपा ने बस्तर से आदिवासी नेता आयतुराम मंडावी, जांजगीर से दाउराम रत्नाकर और कांकेर से सुबे सिंह धुर्वे को टिकट दी है। पहली सूची में तीन प्रत्‍याशियों के नाम घोषित करने के बाद बसपा ने शाम को तीन और उम्‍मीदवारों की दूसरी सूची भी जारी की।

इसमें सरगुजा सीट से माया भगत, रायगढ़ सीट से इन्‍नोसेंट कुजूर और दुर्ग सीट से गीतांजलि सिंह को पार्टी ने अपना उम्‍मीदवार बनाया है।

 

 

 

रायपुर। छत्तीसगढ़ लोकसभा के लिए कांग्रेस उम्मीदवारों की घोषणा के बाद विरोधी दल के नेताओं ने सोशल मीडिया पर कैंपेन शुरू किया है। जशपुर राजपरिवार के पूर्व भाजपा विधायक युद्धवीर सिंह जूदेव ने कांग्रेस उम्मीदवार को गधा संबोधित किया है। इसके बाद सोशल मीडिया में जमकर प्रतिक्रिया आ रही है।

युद्धवीर सिंह जूदेव ने सोशल मीडिया पर टिप्पणी की कि मुख्यमंत्री जी माना दौड़ लगाना है, लेकिन इसका मतलब यह नहीं कि आप घोड़ों की दौड़ में गधों को सजा देकर दौड़ा दें। रायगढ़-जांजगीर लोकसभा से कांग्रेस ने लालजीत सिंह राठिया और रवि भारद्वाज को उम्मीदवार बनाया है। राज्य गठन के बाद दोनों सीट पर कांग्रेस का खाता नहीं खुला है।

सोशल मीडिया पर आशीष पटेल ने आपत्ति दर्ज कराई। उन्होंने लिखा, किसी भी राजनीतिक दल के जनप्रतिनिधि के खिलाफ इस तरह के शब्द (गधा) लिखना आपको शोभा नहीं देता है। इस पर प्रतीक जिंदल ने लिखा, जब पीएम को चोर कहा जा रहा है, तब सही है। आयुष ने लिखा, जो गधा है, उसे घोड़ा थोड़े लिखेंगे।

एक परिवार के गधे को गधे जैसे ढोना क्या गधा नहीं है। उस्मान बेग ने लिखा, सामान्य परिवार के व्यक्ति को कांग्रेस ने टिकट दिया तो भाजपा के लोगों को दिक्कत हो रही है। अपनी हार और हताशा को देखकर भाजपाई विचलित हो गये हैं। उत्तम सोनी ने लिखा, नरवा, गरुवा के दिन आ रहे हैं। फिरोज कुमार ने कमेंट किया-रामकुमार यादव ने शेर को हरा दिया, किसी को कमजोर न समझें भैया।

रायपुर। प्रदेश में लोकसभा की सभी 11 की 11 सीटों को जीतने के लिए कांग्रेस ने अपनी रणनीति बना ली है. रणनीति के तहत मुख्यमंत्री भूपेश बघेल प्रदेश की सभी 90 विधानसभा में धुआंधार प्रचार करेंगे. सोमवार को पीसीसी की लोकसभा चुनाव प्रचार-प्रसार समिति की बैठक हुई. बैठक में निर्णय लिया गया है कि कांग्रेस “बदला है अपना प्रदेश, बदलेंगे अब पूरा देश” के नारे के साथ चुनावी मैदान में उतरेगी.

बैठक में सभी 11 लोकसभा सीटों में प्रभारी और समन्वयक की नियुक्ति कर दी गई है. हर विधानसभा में एक-एक सदस्य बनाकर कमेटी बनाई जाएगी और कमेटी ही लोकसभा में प्रचार का कार्यक्रम तय करेगी.

कांग्रेस की रणनीति के मुताबिक हर विधानसभा को कवर करने का लक्ष्य रखा गया है. मुख्यमंत्री और पीसीसी चीफ भूपेश बघेल की लोकप्रियता को देखते हुए पीसीसी ने हर विधानसभा में उनके प्रचार का कार्यक्रम तय किया है. इस चुनाव में सीएम भूपेश स्टार प्रचारक होंगे.

अभियान समिति के सदस्य

चुनाव अभियान समिति में पीसीसी कोषाध्यक्ष रामगोपाल अग्रवाल, वरिष्ठ विधायक सत्यनारायण शर्मा, अरुण भद्रा और इदरीश गांधी को सदस्य बनाया गया है.

इन्हें दी गई जिम्मेदारी

लोकसभा की सभी 11 सीटों में प्रभारी सदस्यों की नियुक्ति की गई है. जिसमें मंत्री जयसिंह अग्रवाल को कोरबा और बिलासपुर वहीं पहली बार विधायक चुने गए देवेन्द्र यादव को दुर्ग की जिम्मेदारी सौंपी गई है. दुर्ग मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के साथ ही कांग्रेस के राष्ट्रीय महासचिव और पूर्व राष्ट्रीय कोषाध्यक्ष रहे मोतीलाल वोरा का भी गृह क्षेत्र रहा है. यहां से मोतीलाल वोरा के पुत्र अरुण वोरा 3 बार विधायक रह चुके हैं वहीं गृहमंत्री ताम्रध्वज साहू और मंत्री रुद्र गुरु भी जिले से विधायक हैं. देवेन्द्र यादव को नियुक्त कर कांग्रेस सीधे युवा वर्ग पर निशाना साधने की कवायद कर रही है. देवेन्द्र सीएम भूपेश के विश्वस्त लोगों में से एक हैं.

लोकसभा प्रभारी सदस्य

सरगुजा- डॉ अजय तिर्की

रायगढ़- शंकर अग्रवाल

जांजगीर-चांपा- जयसिंह अग्रवाल

कोरबा- जयसिंह अग्रवाल

बिलासपुर- अरुण सिंघानिया

राजनांदगांव- मोहम्मद अकबर

दुर्ग- देवेन्द्र यादव

रायपुर- प्रमोद दुबे

महासमुंद- पारस चोपड़ा

बस्तर- जतीन जायसवाल

कांकेर- सलाम रिजवी

इन्हें बनाया समन्वयक

सरगुजा- सफी अहमद

रायगढ़- शेखर त्रिपाठी

जांजगीर-चांपा- मोतीलाल देवांगन

कोरबा- डमरू रेड्डी

बिलासपुर- बैजनाथ चंद्राकर

राजनांदगांव- जितेन्द्र मुदलियार

दुर्ग- भंवर लाल जैन

रायपुर- प्रमोद चौबे

महासमुंद- अमरजीत चावला

बस्तर- मनोहर लुनिया

कांकेर- नरेश ठाकुर

रायपुर. दिल्ली में केंद्रीय चुनाव समिति की बैठक खत्म कर सीएम भूपेश बघेल वापस रायपुर लौट गए है. कांग्रेस के लोकसभा प्रत्याशी चयन पर बयान देते हुए बघेल ने कहा कि छत्तीसगढ़ में सभी 11 की 11 लोकसभा सीट हम ही जीतेंगे. इस बार लोकसभा प्रत्याशियों के चयन में युवा और अनुभव का मिश्रण है, जिसमें जीतने योग्य युवाओं को ज्यादा महत्व और मौका दिया गया है.

भाजपा के पीएम मोदी के चेहरे पर चुनाव लड़ने के सवाल पर कहा कि विधानसाभा चुनाव में नरेंद्र मोदी को चेहरा बनाया था जैसे-जैसे चुनाव नजदीक आया रमन सिंह का चेहरा बड़ा हो गया. राहुल गांधी ने जिस तरह राफेल मामले में घेरा था, तो जनता ने मोदी को नकार दिया.

नेशनल हेराल्ड को विज्ञापन देने के सवाल पर कहा कि नेशनल हेराल्ड का राष्ट्रीय राजनीति में महत्व रहा है. आजादी में योगदान रहा है. भाजपा सरकार में पांचजन्य और कमल को विज्ञापन दिया. इसकी छत्तीसगढ़ में क्या भूमिका रही है. अपनी करतूतों को याद कर लें, फिर आरोप लगाए. एक उंगली उठाओगे तो तीन उंगलियां उठेंगी.

पीएम मोदी द्वारा चौकीदार को हथियार बनाने पर कहा कि चौकीदार चोर के सवाल पर पीएम मोदी को जवाब देना था, लेकिन आज चोरी और सीन जोरी कर रहे है. यदि चौकीदार थे तो माल्या और नीरव मोदी कैसे भाग गए. चौकीदार थे तो रमन सिंह का कुनबा जब चोरी कर रहा था, तब कोई करवाई क्यों नही की गई.

पूर्व सीएम रमन सिंह के दमाद पुनीत गुप्ता पर एफआईआर होने पर कहा कि आर्थिक अनियमितता पाई गई है जिस वजह से विभाग करवाई कर रहा है.

गोवा में कांग्रेस के सरकार बनाने के दावे पर कहा कि भाजपा को बहुमत नहीं था जोड़तोड़ से सरकार बनाई थी. कांग्रेस सबसे बड़ी पार्टी है इसलिए सरकार बनाने का दावा किया गया है.

रायपुर. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के चौकीदार चोर कहने पर हमला चुनाव के नजदीक आते ही औऱ तेज हो गया है. मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने ट्विटर पर हमला बोलते हुए कहा कि ये चौकीदार बड़ा हाई-फाई है, बड़े बंगले में रहता है, बड़ी गाड़ियों में घूमता है और महंगे सूट भी पहनता है. सिर्फ बड़े-बड़े लोगों के काले धन की ही चौकीदारी करता है. सच में ये वाला चौकीदार काम पर रखने लायक नहीं है. देश को यह बहुत महंगा पड़ गया है.

दरअसल यह हमला पीएम मोदी पर ही है. उनके रोजाना बदलते कपड़े, बड़े काफिले के साथ सुरक्षा और उनके चर्चा में रहने की वजह कई मंहगे सूट है. यही वजह है कि सीएम भूपेश बघेल उन पर तंज कस रहे हैं.

ये लिखा है ट्विट में…

भाई साहब! यह चौकीदार बड़ा हाई-फाई है। बड़े बंगले में रहता है, बड़ी गाड़ियों में घूमता है, महंगे सूट पहनता है, काजू बादाम खाता है और सिर्फ बड़े-बड़े लोगों के काले धन की ही चौकीदारी करता है। सच में ये वाला चौकीदार काम पर रखने लायक नहीं है। बहुत महंगा पड़ गया देश को।

 

 

 गौरतलब है कि राहुल गांधी हर सभा में ‘चौकीदार चोर है’ कहकर पीएम मोदी को लगातार कटघरे में खड़ा करते रहे हैं. चुनावी मोदी में आने से पहले इसे इस चुनाव का सबसे बड़ा नारा माना जा रहा था. लेकिन मोदी ने इसी नारे पर पलटवार करने की कोशिश की. एक वीडियो के ज़रिए मोदी ने एक कैंपेन लांच किया. ‘मैं भी चौकीदार’. इसमें तेज़ी से भाजपा के लोग जुड़ने लगे. इसके बाद इस मसले पर बहस शुरु हो गई.

रायपुर. रायपुर लोकसभा सीट पर कांग्रेस के प्रत्याशी को लेकर आम सहमति तक बन जाने की खबर है. दिल्ली के सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक मेयर प्रमोद दुबे के नाम पर पार्टी के बड़े नेताओं में रज़ामंदी हो गई है. हालांकि इस पर अंतिम निर्णय केंद्रीय चुनाव समिति की बैठक में ही होना है.

सूत्रों के अनुसार, दिल्ली में कांग्रेस के बड़े नेताओं के बीच हुई चर्चा में प्रमोद दुबे के नाम पर सहमति बनी है. बताया जाता है कि बड़े नेताओं में रायपुर से चार नामों पर चर्चा हो रही थी. जिसमें प्रमोद दुबे भी शामिल थे. चर्चा थी कि ब्राह्मण वर्ग से सबसे मजबूत दावेदारी रायपुर से थे. जहां से तीन चार दावेदार रेस में थे. जिसमें महंत रामसुंदर दास, प्रमोद दुबे, पंकज शर्मा और राजेंद्र तिवारी का नाम चर्चाओं में था. ओबीसी का नाम होने की स्थिति में किरणमयी नायक या गिरीश देवांगन का नाम रेस में शामिल है .

हालांकि अभी केंद्रीय चुनाव समिति की बैठक में इन नामों का मिलान राहुल गांधी की टीम के सर्वे रिपोर्ट से किया जाएगा. उसके बाद भी नाम फाइनल होंगे. बैठक के बाद देर रात तक प्रत्शाशियों की घोषणा कभी भी की जा सकती है.

गौरतलब है कि चुनाव आयोग ने छत्तीसगढ़ में तीन चरणों में चुनाव की घोषणा की है. जिसमें पहले चरण में बस्तर की सीट पर,  18 अप्रैल को द्वितीय चरण में राजनांदगांव, कांकेर और महासमुंद सीट पर और तीसरे चरण में 23 अप्रैल को रायपुर के साथ बिलासपुर, कोरबा, दुर्ग, रायगढ़, सरगुज़ा और जांजगीर लोकसभा सीटों में मतदान होगा. मतगणना 23 मई को होगी.

रायपुर- बीजेपी सत्ता में थी, तो रणबाकुंरे बन बेहतर राजनीतिक भविष्य की चाहत लिए पार्टी प्रवेश करने वाले रिटायर्ड डीजी राजीव श्रीवास्तव, रिटायर्ड आईएएस आर सी सिन्हा समेत एक दर्जन से ज्यादा रिटायर्ड अधिकारियों ने संगठन को अलविदा कह दिया है. बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष विक्रम उसेंडी को भेजे गए इस्तीफा पत्र में पार्टी की प्राथमिक सदस्यता छोड़े जाने का जिक्र हैं, लेकिन वजह स्पष्ट नहीं की गई है. बता दें कि विधानसभा चुनाव के ठीक पहले बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह की मौजूदगी में जोर-शोर से रिटायर्ड अधिकारियों का पार्टी प्रवेश कराया गया था. खूब हल्ला किया गया कि पार्टी की रीति-नीति से प्रभावित होकर सेवामुक्त हो चुके अधिकारी बीजेपी में आ रहे हैं, हालांकि अब जब सरकार बदल गई तो बदली फिजा में पार्टी छोड़ना ही रिटायर्ड अधिकारियों ने बेहतर समझा है.

पार्टी की प्राथमिक सदस्यता से इस्तीफा देने वाले रिटायर्ड डीजी राजीव श्रीवास्तव, रिटायर्ड आईएएस आर सी सिन्हा, एन के एस ठाकुर, विमल चंद गुप्ता, एनटीपीसी के पूर्व महाप्रबंधक एच के धागमवार, पूर्व वन अधिकारी आर के तिवारी, बंशीलाल कुर्रे, आर के शर्मा, भोजेंद्र उके, प्रदीप मिश्रा, शमशीर खान, अजीत चौबे, डा.हेमू यदू, घनश्याम शर्मा, डा.नीता शर्मा और सुभाष वर्मा के नाम शामिल हैं.

 

अध्यक्ष बनते ही विक्रम उसेंडी को झटका

लोकसभा चुनाव के ठीक पहले हाल ही में बीजेपी आलाकमान ने प्रदेश नेतृत्व बदलते हुए धरमलाल कौशिक की जगह विक्रम उसेंडी को कमान सौंपी थी. उसेंडी को लोकसभा चुनाव में बेहतर प्रदर्शन करने के साथ ही कमजोर होते कैडर को मजबूत करने की जवाबदारी दी गई थी, लेकिन नेतृत्व संभालते ही उन्हें यह पहला बड़ा झटका लगा है. जिस जोरशोर के साथ रिटायर्ड अधिकारियों का बीजेपी प्रवेश कराया गया, अब उन चेहरों ने ही पार्टी से अपने को किनारा कर लिया है. राजनीतिक प्रेक्षक मानते हैं कि लोकसभा चुनाव के ठीक पहले इस तरह से पार्टी छोड़ने की खबरें बीजेपी की सेहत के लिए ठीक नहीं है.

 

रायपुर/कोरबा। लोकसभा चुनाव को लेकर जनता कांग्रेस छत्तीसगढ़(जे) के अध्यक्ष अमित जोगी ने बड़ा ऐलान कर दिया है. उन्होंने कहा कि मैं नहीं पार्टी के संस्थापक अध्यक्ष अजीत जोगी कोरबा लोकसभा सीट से चुनाव लड़ेंगे. अमित जोगी ने यह बयान ऐसे वक्त में यह बयान दिया जब वे खुद बीते काफी दिनों से कोरबा सीट से चुनाव लड़ने की तैयारी कर रहे थे.

अमित जोगी ने कहा कि हमारा बसपा के साथ गठबंधन है. गठबंधन और पार्टी कोर कमेटी ने फैसला किया है कि कोरबा सीट से विधायक अजीत जोगी चुनाव लड़े. यह निर्णय गठबंधन और पार्टी हित में है

Ads

R.O.NO. 13481/72 Advertisement Carousel

MP info RSS Feed

फेसबुक